12 वीं में पूरे छत्तीसगढ़ में टॉप करने वाले बालोद के धावेंद्र कुमार से लल्लूराम ने सबसे पहले बात की. धावेंद्र ने अपनी सफलता का सबसे ज़्यादा श्रेय अपने माता-पिता और हिरवानी सर को दिया जिनसे उसने ट्यूशन पढ़ा.
सवाल – सबसे पहले आपको बधाई
धावेंद्र- धन्यवाद
सवाल – आपने कैसे टॉप किया
धावेंद्र- मैंने पढ़ाना का रुटीन बनाया था जिसे कभी नहीं तोड़ा. रोज़ाना हर सब्जेक्ट की एक घंटे पढ़ाई करता था.
सवाल – क्या बनना चाहते हैं.
धावेंद्र- अभी तो अधिकारी बनना चाहता हूं आईएएस, इंजीनियरिंग करके.
सवाल – किस तरह की तैयारी की थी
धावेंद्र – रोज़ सुबह की पढ़ाई करता था. रात को सो जाता था. पढ़ाई नियमित करता था. जो सर पढ़ाते थे वही घर आकर पढ़ता था
सवाल – आपको उम्मीद थी टॉप करने की
धावेंद्र- उम्मीद तो थी लेकिन टॉप टेन में आने की उम्मीद थी. पूरे प्रदेश में टॉप करने की उम्मीद नहीं थी.
सवाल – इस सफलता का श्रेय किसे देंगे
धावेंद्र – सोमेंद्र हिरवानी सर को खासतौर से जिन्होंने मेरी टॉप के लिए तैयारी करवाई. इसके अलावा मैं अपनी मम्मी- पापा को इसका श्रेय दूंगा जिन्होंने मेरा हर वक्त साथ दिया और हौसलाअफज़ाई की.