लखनऊ. बिहार में जाति जनगणना होने के बाद देशभर में सियासत तेज है. समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने फिर जातीय जनगणना की अपनी मांग की है. उन्होंने गुरुवार को लखनऊ में कहा कि जातीय जनगणना हमारे समाज को जोड़ेगी. जो जातियां पीछे रह गई थीं, जिन्हें अभी तक सम्मान और अधिकार नहीं दिया गया है, और जो लोग ऐसा सोचते हैं उनकी जनसंख्या अधिक है, लेकिन उन्हें उसके अनुरूप कुछ नहीं मिल रहा है, मुझे लगता है कि जाति आधारित जनगणना हमारे समाज को एकीकृत करेगी.

अखिलेश यादव ने कहा कि इससे सभी जातियों को अधिकार और सम्मान मिलेगा. बाबा साहब भीमराव अंबेडकर ने जो व्यवस्था की थी उससे जाति को आरक्षण दिया था. बता दें कि इससे पहले अखिलेश यादव ने बिहार सरकार के जातिगत सर्वेक्षण के आंकड़े जारी करने का स्वागत करते हुए भी बीजेपी सरकार पर तंज कसा था. अखिलेश यादव ने कहा था कि बीजेपी सरकार राजनीति छोड़े और देशव्यापी जातिगत जनगणना करवाए.

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उन्होंने कहा था कि जातिगत जनगणना 85-15 के संघर्ष का नहीं, बल्कि सहयोग का नया रास्ता खोलेगी और जो लोग प्रभुत्वकामी नहीं हैं, बल्कि सबके हक के हिमायती हैं, वो इसका समर्थन भी करते हैं और स्वागत भी. जो सच में अधिकार दिलवाना चाहते हैं वो जातिगत जनगणना करवाते हैं. 

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