चंडीगढ़. राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) द्वारा जारी आंकड़ों से पता चलता है कि 2022 में लुधियाना में हुई 467 सड़क दुर्घटनाओं में से 258 के पीछे तेज गति थी. इसकी रिपोर्ट के अनुसार, इन दुर्घटनाओं में 364 लोगों की जान चली गई और 174 लोग घायल हो गए. वहीं पूरे पंजाब में 2021 और 2022 में हुई सड़क दुर्घटनाओं में मरने वालों की संख्या घायलों से ज्यादा रही. NCRB की ताजा रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई है. राष्ट्रीय अपराध रिकार्ड ब्यूरो (National Crime Records Bureau) के आंकड़ों से पता चलता है कि पड़ोसी राज्य हरियाणा में सड़क दुर्घटनाओं में घायल हुए लोगों की संख्या मृतकों से अधिक रही.

सड़क दुर्घटनाओं में आमतौर पर चोटिल लोगों की संख्या मृतकों से ज्यादा होती है लेकिन आंकड़ों से पता चलता है कि पंजाब जैसे कुछ राज्यों में घायलों की तुलना में मृतकों की संख्या से अधिक रही है. पंजाब में 2022 में 6,122 सड़क दुर्घटनाओं में 4,688 लोगों की मौत हुई और 3,372 लोग घायल हुए. इससे पिछले वर्ष में 6,097 सड़क दुर्घटनाओं में 4,516 लोगों की मौत हुई और 3,034 लोग घायल हुए. हरियाणा में 2021 में 10,049 सड़क दुर्घटनाएं दर्ज की गई और 2022 में यह आंकड़ा मामूली रूप से बढ़कर 10,654 हो गया. हरियाणा में 2021 में सड़क दुर्घटनाओं में 4,983 लोगों की मौत हुई जबकि 2022 में यह आंकड़ा 5,228 रहा. राज्य में इन दो वर्ष में दुर्घटनाओं में क्रमशः 7,972 और 8,353 लोग घायल हुए.

यही कारण है कि पिछले दिनों पंजाब सरकार ने फरिश्ते स्कीम शुरू की है, जिसमें सड़क हादसे में घायलों को इलाज उपलब्ध कराने को लेकर पूरी रणनीति बनाई गई है. इसके तहत अस्पताल पहुंचाने वाले व्यक्ति को पुलिस गवाह नहीं बनाएंगी (वो न चाहे तो) और उसे ईनाम भी दिया जाएगा.