रायपुर। प्रदेश में विधानसभा चुनाव को लेकर जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ (जे) और बसपा के बीच हुए गठबंधन के बाद प्रदेश में पहली बार राजनीति के दो बड़े चेहरे मायवती और अजीत मंच साझा करने जा रहे हैं। 13 अक्टूबर को बिलासपुर के साइंस कॉलेज मैदान में आयोजित इस आमसभा को कई मायनों में खास माना जा रहा है। इस सभा के माध्यम से दोनों पार्टी के शीर्ष चेहरे प्रदेश की जनता को साधने के साथ ही कार्यकर्ताओं मे जोश भरने वाले है। चुनाव के ठीक पहले नए गठबंधन की यह पहली सभा है। वहीं इस सभा को लेकर दोनो पार्टियों में बैठकों का दौर भी शुरू हो चुका है। सभा को सफल बनाने के लिए व्यापक स्तर पर रणनीति तैयार की जा रही है। जानकारी के अनुसार चुनाव के ठीक पहले मायावती व जोगी के इस गठबंधन वाली सभा में एक लाख से भी ज्यादा की एतेहासिक भीड़ जुटाने का प्रयास किया जा रहा है। इससे पहले भी जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ के सुप्रीमों अजीत जोगी से कई रायपुर और मारवाही बड़ी सभा को संबोधित कर शक्ति प्रदर्शन कर प्रदेश में राजनीतिक बदलाव होने की ओर इशारा कर चुके हैं।
चुनावी रैली से दोनों पार्टी को मिल सकती है मजबूती
वर्तमान में बहुजन समाज पार्टी के पास प्रदेश में केवल एक ही विधानसभा सीट मौजूद है। हालांकि बहुत सारी सीटें ऐसी है जहां बसपा मजबूती से दखल रखती है. ऐसे में अब स्थानीय स्तर पर अजीत जोगी के समर्थन के बाद पार्टी को और मजबूती मिलेगी। माना जा रहा है कि इस बार दोनों पार्टियों के बीच हुए गठबंधन के बाद प्रदेश के जिन 35 सीटों पर बसपा अपने प्रत्याशी उतारने जा रही है उन्हें वहां जोगी के समर्थन के बाद फायदा पहुंच सकता है। जोगी कांग्रेस व बसपा के बीच हुए गठबंधन के बाद मायावती का यह पहला प्रदेश प्रवास है। इस प्रवास को कई मायनों में खास माना जा रहा है। माना जा रहा है कि मायावती की ओर से इस दिन कई सीटों पर प्रत्याशियों का ऐलान किया जा सकता है.
ये रहेगा खास-
पहली बार साथ में चुनावी रैली को संबोधित करेंगे
बिलासपुर में रैली संभाग की सभी 24 सीटों पर फोकस
बिलासपुर संभाग में जोगी और बसपा दोनों का प्रभाव
किसी राजनीतिक दल की ओर से पहली पूर्ण चुनावी सभा
1 लाख से अधिक भीड़ जुट सकती है
नीला और गुलाबी रंग से रंगा होगा मैदान
कांग्रेस और भाजपा रहेंगे निशाने पर
बसपा प्रत्याशियों की हो सकती है घोषणा
भाजपा और कांग्रेस कई असुंतष्ट नेता जा सकते गठबंधन के साथ