हेमंत शर्मा, इंदौर। कथित फर्जी वीडियो जारी कर भड़काऊ बयान देने के मामले में कैबिनेट मंत्री कैलाश विजयवर्गीय की मुसीबत बढ़ सकती है। कांग्रेस नेता अमीनुल सूरी ने इंदौर हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी, याचिका की सुनवाई के दौरान कोर्ट ने तिलक नगर पुलिस को 90 दिन में जांच कर FIR दर्ज करने के आदेश जारी किए हैं।
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बता दें कि खरगोन जिले में 10 अप्रैल 2022 को रामनवमी पर हुई हिंसा के समय कैलाश विजयवर्गीय ने सोशल मीडिया पर वीडियो जारी कर उसे खरगोन का बताया था, जिस पर अल्पसंख्यक पर टिप्पणी की गई थी। कांग्रेस नेता अमीनुल सूरी ने 16 अप्रैल 2022 को तिलक नगर थाने में पूरे मामले की शिकायत की थी। उन्होंने अपनी शिकायत में लिखा था कि कैलाश विजयवर्गीय ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर तेलंगाना के वीडियो को खरगोन का बताया और इसका जो कैप्शन दिया वह अल्पसंख्यकों को भड़काने व शांति भंग करने वाला है।
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वहीं पुलिस ने शिकायत के साल भर बाद भी केस दर्ज नहीं किया, तो सूरी ने इंदौर हाईकोर्ट में याचिका दायर की। याचिका की सुनवाई के दौरान इंदौर हाईकोर्ट ने पुलिस को 90 दिनों मे मामले की जांच कर एफआईआर दर्ज करने के आदेश जारी किए हैं।
दिग्विजय सिंह के खिलाफ भी दर्ज हुई थी FIR
खरगोन की इसी हिंसा को लेकर कांग्रेस नेता और पूर्व सीएम दिग्विजय सिंह के खिलाफ भी पुलिस ने भोपाल, ग्वालियर, नर्मदापुरम, जबलपुर, सतना, इंदौर, बैतूल आदि जिलों में 9 केस दर्ज किए। तब दिग्विजय ने एक वीडियो सोशल मीडिया पर डाला था, जिसका कैप्शन था कि क्या खरगोन प्रशासन ने हथियारों के साथ जुलूस निकालने की इजाजत दी थी? सिंह के खिलाफ इस वीडियो की शिकायतों में इसे बिहार का बताया गया था।
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