आशुतोष तिवारी, रीवा। डिप्टी सीएम राजेंद्र शुक्ला के गृह जिले रीवा में शासकीय अस्पतालों की हालत लगातार बद से बदतर होती जा रही है। इलाज के नाम पर यहां लोगों के जीवन से खिलवाड़ किया जा रहा है। आए दिन मरीज के परीजनों और चिकित्सकों के बीच विवाद होना आम बात है। इसके बाद भी अस्पताल के हालात में कोई सुधार नहीं है। आज फिर रीवा के एक अस्पताल ने एक महिला जान चली गई। चिकित्सकों की लापरवाही से न सिर्फ एक निर्दोष महिला की मौत हो गई, बल्कि दो दिन के नवजात बच्चे के सिर से मां का साया भी उठ गया।

दरअसल, यह पूरा मामला रीवा के संजय गांधी अस्पताल का है। जिसका कायाकल्प स्वास्थ्य मंत्री और डिप्टी सीएम राजेंद्र शुक्ला ने करोड़ों रुपए खर्च कर करवाया है। बिल्डिंग का कायाकल्प होने के साथ ही अस्पताल में टाइल्स और अन्य सुविधाएं बढ़ा दी गई। लेकिन आज तक इलाज की सुविधा पहले जैसे ही चल रही है। जिसके कारण बाणसागर निवासी 26 वर्षीय पूर्णिमा की मौत हो गई। पुर्णिमा को लेबर पेन होने पर परिजनों ने 25 मई को अस्पताल में भर्ती कराया था। 26 मई को महिला का सर्जरी कर डिलीवरी कराई गई। जिसके बाद जच्चा-बच्चा दोनों स्वास्थ्य थे।

आज सुबह से महिला की तबियत बिगड़ी तो परिजन इधर-उधर भटकते रहे, लेकिन कोई भी डॉक्टर नहीं आया और महिला ने दम तोड दिया। डॉक्टरों का कहना है कि महिला की किडनी में इंफेक्सन था, जिससे उसकी मौत हो गई। परिजनों ने आरोप है कि डिलीवरी तक महिला स्वस्थ्य थी। फिर दो दिनों में ऐसा क्या हो गया की उसकी मौत हो गई। उनका कहा है कि ऑपरेशन के बाद से पूर्णिमा को यूरीन नहीं हो रहा था। चिकित्सकों को बताने के बाद कोई भी इलाज के लिए आगे नहीं आया।

परिजनों ने कहा कि स्टाफ ने बताया कि गलत ऑपरेशन होने से महिला की तबीयत खराब हुई और उसकी मौत हुई है। मौत के बाद परिजनों ने जमकर हंगामा किया और इंसाफ की मांग की। इधर, घटना की जानकारी मिलते ही पुलिस अस्पताल पहुंची और परिजनों को शांत करवाया। फिलहाल, पुलिस इस मामले में मर्ग कायम कर जांच शुरू कर दी है।

Lalluram.Com के व्हाट्सएप चैनल को Follow करना न भूलें.
https://whatsapp.com/channel/0029Va9ikmL6RGJ8hkYEFC2H