मनीष सिसोदिया की जमानत याचिका पर सुप्रीम कोर्ट सुनवाई को सहमत हो गया है. मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट ने संक्षिप्त सुनवाई के बाद ED और CBI को नोटिस जारी करते हुए जवाब दाखिल करने को कहा है. सुप्रीम कोर्ट में मामले की अगली सुनवाई अब 29 जुलाई को होगी.
जस्टिस संजय करोल, जस्टिस बीआर गवई और जस्टिस केवी विश्वनाथन की बेंच ने सिसोदिया की याचिका पर सुनवाई की. बार एंड बेंच के मुताबिक सिसोदिया की ओर से पेश हुए वरिष्ठ वकील विवेक जैन ने कहा, ‘ट्रायल की गति धीमी है. इस अदालत ने आदेश दिया था कि यदि इसमें मेरी गलती नहीं तो मैं सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर कर सकता है. मैं 16 महीने से अंदर हूं और ट्रायल की गति अभी भी वही है जो अक्टूबर 2023 में थी. यह एनडीपीएस केस जैसा नहीं है और देरी पर ध्यान दिया जाए मीलॉर्ड.’
बेंच ने ED और CBI को नोटिस जारी करते हुए जवाब देने को कहा. इस मामले को 29 जुलाई को सूचीबद्ध करने को कहा. वकील विवेक जैन ने शॉर्ट नोटिस की मांग करते हुए कहा कि सिसोदिया लंबे समय से कैद में हैं. कोर्ट ने 29 जून को ही सुनवाई की बात कही. सिसोदिया को 26 फरवरी 2023 को लंबी पूछताछ के बाद CBI ने गिरफ्तार कर लिया था. इसके बाद 9 मार्च 2023 को ED ने भी उन्हें गिरफ्तार कर लिया. तब से सिसोदिया न्यायिक हिरासत में जेल में बंद हैं. निचली अदालत से सुप्रीम कोर्ट तक उनकी जमानत याचिकाओं को खारिज कर दिया गया.
सिसोदिया दिल्ली के शिक्षा मंत्री के साथ आबकारी विभाग का जिम्मा भी संभाल रहे थे. वित्त वर्ष 2021-22 के लिए बनी शराब नीति को लेकर ED और CBI का दावा है कि गलत तरीके से शराब कारोबारियों को फायदा पहुंचाया गया और बदल में उनसे रिश्वत ली गई. इसी मामले में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल भी जेल में बंद हैं. पिछले दिनों उन्हें सुप्रीम कोर्ट ने ईडी केस में अंतरिम जमानत दे दी, लेकिन CBI केस में भी गिरफ्तारी की वजह से वह जेल से बाहर नहीं निकल पाए. CBI केस में केजरीवाल की याचिका दिल्ली हाई कोर्ट में लंबित है.
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