पखांजूर में गाय का दूध और उससे बनी मिठाई खाने के बाद काफी परेशान है. पूरे गांव में ये भ्रांति तेजी से फैल गई है कि जिन 2 गायों का दूध उन्होंने पिया था उसे एक पागल कुत्ते ने काटा था, जिसके बाद उसकी मौत हो गई.

Chhattisgarh News: छत्तीसगढ़ के पखांजूर में ग्राम पीवी-4 (PV-4 Village) के ग्रामीण गाय का दूध (Cow Milk) और उस दूध से बनी मिठाई खाने के बाद अब रैबीज वैक्सीन (Rabies Vaccine) लगवाने के लिए दर-दर भटक रहे है. अब आप सोच रहे होंगे कि ऐसा क्या हो गया कि गाय का दूध (Cow Milk) और उससे बनी मिठाई के बाद ग्रामीणों को रैबीज वैक्सीन (Rabies Vaccine) लगाने की नौबत आन पड़ी, तो चलिए आपको बताते है ये पूरा मामला क्या है.

 पखांजूर के विवेकानंद नगर ग्राम ‘पीवी-4’ का हर बाशिंदा इन दिनों रैबीज होने के डर (Rabies Scare) से जूझ रहा है. वजह ये कि 2 महीने पहले जिन गायों के दूध से बनी मिठाई खाई थी, उनकी मौत हो गई. अब गांव का हर शख्स रैबीज का टीका मांग रहा है. आलम ये है कि जिला मुख्यालय से स्वास्थ्य विभाग (Health Department)

 की टीम भेजकर गांव में कैंप (Vaccination Camp)

 लगाना पड़ गया. अब तक 200 से ज्यादा लोगों का Rabies Vaccine हो भी चुका है. 200 और लोगों को टीका लगाया जाएगा. जानकारी के मुताबिक जिन गायों की मौत हुई थी उसे पागल कुत्ते ने काटा था.

2 माह पुरानी है घटना

जानकारी के अनुसार, घटना 2 माह पुरानी है. 1 जून को गांव के 3 घरों में पूजा थी. आधे से ज्यादा गांव इन कार्यक्रमों में शामिल हुआ था. तीनों ही जगहों पर प्रसाद के लिए मिठाई एक ही जगह से दूध मंगाया था. ये दूध जिन गायों का था, उन्हें कुछ दिन पहले एक पागल श्वान ने काट लिया था. गाय की मौत होते ही पशु मालिक ने बिना किसी को कुछ बताए अस्पताल जाकर रैबीज का टीका लगवा लिया था. हाल ही में बात जब बाहर आई तो पूरे गांव में दहशत का माहौल बन गया. आलम ये है कि जिसने दूध पिया भी नहीं, वे भी टीका लगवा रहे हैं. (Chhattisgarh News)

करीब 400 लोगों को टीका लगाया जाना है

गांव में श्वान काटने से जिन गायों की मौत हुई थी, उसी गाय के कच्चे दूध का इस्तेमाल गांव वालों ने किया है. ग्रामीणों में ये बात तेजी से फैल गई है कि कच्चे दूध में रेबीज का संक्रमण फैलने की संभावना ज्यादा होती है इसलिए वहां स्वास्थ्य विभाग (Health Department) ने भी शिविर लगाने शुरू कर दिए है. अब तक 200 लोगो को रेबीज का टीका लगा चुका है और करीब 200 ग्रामीणों को टीका लगना बाकी है.