चंडीगढ़. पंजाब विजीलेंस ब्यूरो ने राज्य में भ्रष्टाचार के खिलाफ चलाए गए अभियान के तहत जुलाई महीने के दौरान 14 अलग-अलग मामलों में 15 कर्मचारियों और पांच अन्य व्यक्तियों को रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों पकड़ा है.
राज्य विजीलेंस ब्यूरो के प्रवक्ता ने सोमवार को बताया कि विजीलेंस ब्यूरो ने इस अवधि के दौरान हर क्षेत्र में कर्मचारियों और अन्य लोगों के बीच भ्रष्टाचार को खत्म करने के लिए पूरी सक्रियता दिखाई है. उन्होंने बताया कि ब्यूरो द्वारा पिछले महीने आठ विजीलेंस मामलों के संबंध में विभिन्न सक्षम अदालतों में चालान पेश किए गए. इसके अलावा, कर्मचारियों के खिलाफ भ्रष्टाचार के मामलों की गहराई से जांच करने के लिए सात मामलों में विजीलेंस जांच भी दर्ज की गई.
उन्होंने यह भी बताया कि इसी दौरान नौ आपराधिक मामले भी दर्ज किए गए, जिनमें 13 कर्मचारी और छह अन्य व्यक्ति शामिल हैं. उन्होंने बताया कि जालंधर की एक अदालत ने पिछले महीने ब्यूरो द्वारा दायर किए गए रिश्वतखोरी के एक मामले का फैसला सुनाया, जिसमें इंप्रूवमेंट ट्रस्ट जालंधर में तैनात जूनियर सहायक संदीप मित्र को दोषी करार देते हुए पांच साल की कैद और 20,000 रुपये जुर्माने की सजा सुनाई गई है.
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