Exclusive Report विक्रम मिश्रा, लखनऊ। उत्तर प्रदेश अपने सियासी हलचल के लिए मशहूर है। कभी मुख्यमंत्री बनाम सरकार तो कभी सरकार वर्सेस संगठन देखने को मिलती रही है। ताज़ा मामला तो हैरत में डालने वाला है। यूपी में विकास और विधायिका की जिम्मेदारी सरकार की है, लेकिन यहां पर विभागवार समीक्षा मुख्यमंत्री के बजाय खुद राज्यपाल आनंदीबेन पटेल कर रही है। जी हां लल्लूराम डॉट कॉम के हाथ लगी तस्वीर इस बात की पुष्टि कर रही है। जहां पर राजभवन के हॉल में बाल विकास पुष्टाहार के आलाधिकारी मय कर्मचारी अपनी प्रगति रिपोर्ट सौंप रहे है।

उत्तर प्रदेश में आज तक कभी ऐसा नहीं हुआ है, जहां कि राज्यपाल विभागों में दखलंदाजी करें। राजभवन में उच्च पदस्थ सूत्र बताते है कि, लगभग 40 विभागों को अपनी प्रगति रिपोर्ट जारी करने के लिए राज्यपाल ने निर्दर्शित किया है। इस तस्वीर में राज्यपाल आनंदीबेन पटेल के साथ आपको योगी सरकार में कैबिनेट मंत्री बेबी रानी मौर्य और राज्यमंत्री प्रतिभा शुक्ला दिख रही है।

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योगी के कामकाज में राजभवन का दखल

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की सरकार को जनता ने चुना है। जबकि राज्यपाल की नियुक्ति केंद्र की सिफारिश पर राष्ट्रपति करता है। ऐसे में सरकार का मुखिया यानी कि सीएम ही राजभवन में विभागों की प्रगति रिपोर्ट देता आया है। बावजूद इसके उत्तर प्रदेश की महामहिम द्वारा विभागों की प्रगति की समीक्षा करना एक बड़े संदेश को दर्शा रहा है।

राज्यपाल को CM की रिपोर्ट पर संस्तुति का है अधिकार

सरकार की ओर से दी गई रिपोर्ट को राज्यपाल द्वारा अधोहस्ताक्षरित किया जाना ही नियमावली में है। जबकि इस तरह के विभागीय बैठक करना सरकार के अधिकार में अतिक्रमण की श्रेणी में आता है। इससे पहले कभी भी यूपी की सियासत में नही हुआ है।

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डबल इंजन की सरकार फिर भी तालमेल की कमी

केंद्र और यूपी में भाजपानीत NDA की सरकार ही काबिज़ है। जबकि केंद्र द्वारा राज्यपाल की नियुक्ति की सिफारिश पर राष्ट्रपति अपना दस्तखत करती है। वहीं जनता प्रदेश की सरकार चुनती है। ऐसे में राजभवन द्वारा मुख्यमंत्री के कार्यक्षेत्र में अतिक्रमण भविष्य के लिए बड़ा राजनीतिक उठापठक का एक संदेश माना जा सकता है। दिल्ली सरकार और वहां के उप राज्यपाल के बीच में हुई नोंकझोक आपको याद ही होगी। जिस पर कि कोर्ट को दखल देना पड़ा था कि राजभवन मुख्यमंत्री के कार्यक्षेत्र में अतिक्रमण न करें। अब उत्तर प्रदेश की डबल इंजन सरकार में ऐसा तब देखने को मिल रहा है, जब यूपी के मुख्यमंत्री दिल्ली प्रवास पर है।

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