Sheela Kumari Mandal On Prashant Kishor: चुनाव रणनीतिकार से नेता बने प्रशांत किशोर पर बिहार (Bihar) की परिवहन मंत्री शीला मंडल ने शराबबंदी (Prohibition of alcohol) के मुद्दे को लेकर करारा निशाना साधा है। शीला मंडल ने कहा कि प्रशांत किशोर ने अब अपना असली चेहरा दिखाया है। प्रशांत शराबबंदी के फायदों से अनजान हैं और इसके हटाने की बात करके अपनी असली मानसिकता दिखाई है। मंत्री ने दावा किया कि नीतीश सरकार की शराबबंदी से समाज में अमन-चैन बना हुआ है।
बता दें कि विगत 2 अक्टूबर 2024 को चुनाव रणनीतिकार से नेता बने प्रशांत किशोर ने अपनी राजनीति पार्टी ‘जन सुराज’ (Jan Suraaj) पार्टी लॉन्च की थी। प्रशांत किशोर ने पार्टी के गठन के मौके पर बिहार की जनता से कई बड़े वादे भी किए। इस दौरान उनके निशाने पर लालू यादव, नीतीश कुमार और बीजेपी भी रही थी। इसी दौरान प्रशांत किशोर ने शराबबंदी हटाने की बात कही थी।
दयू प्रदेश कार्यालय में आयोजित जन सुनवाई कार्यक्रम के बाद पत्रकारों से बातचीत के क्रम में परिवहन मंत्री शीला मंडल ने प्रशांत किशोर के बयान पर आपत्ति जताते हुए कहा कि गांधी जयंती के दिन शराबबंदी हटाने की बात कर प्रशांत किशोर ने अपनी असली मानसिकता को उजागर किया है। किशोर को इस बात की जानकारी नहीं है कि शराबबंदी से कितने घरों में खुशियां लौटी है। समाज में अमन-चैन का माहौल कायम हुआ है। आज किसी चौराहे पर कोई भी व्यक्ति शराब पीकर उपद्रव करने या हुड़दंग का साहस नहीं कर सकता। वह जमीनी हकीकत से अनभिज्ञ हैं। शराबबंदी की अहमियत का उन्हें अंदाजा नहीं है।
1 घंटे के अंदर शराबबंदी से प्रतिबंध हटाने की कह चुके है बात
बता दें कि चुनाव रणनीतिकार से नेता बने प्रशांत किशोर कई बार शराबबंदी को लेकर सीएम नीतीश कुमार पर निशाना साध चुके हैं। प्रशांत किशोर ने इससे पहले 15 सितंबर 2024 को भी खुद की सरकार बनने पर एक घंटे में बिहार से शराबबंदी हटाने की बात की थी। जन सुराज पार्टी के संस्थापक प्रशांत किशोर ने कहा कि उनकी पार्टी ‘अपनी सरकार बनाने के एक घंटे के भीतर शराबबंदी को समाप्त कर देगी।
प्रशांत किशोर ने कहा कि शराबबंदी का फैसला नीतीश कुमार की तरफ से एक ढकोसला है। किशोर ने मौजूदा शराबबंदी की आलोचना की और दावा किया कि यह अप्रभावी साबित हुई है। उन्होंने कहा कि शराबबंदी के कारण अवैध घरेलू शराब वितरण बढ़ गया है और राज्य को 20,000 करोड़ रुपये के संभावित उत्पाद शुल्क राजस्व से वंचित कर दिया है। उन्होंने राजनेताओं और नौकरशाहों पर भी अवैध शराब व्यापार से लाभ उठाने का आरोप लगाया। किशोर ने यह भी कहा कि वे ‘काबिलियत की राजनीति’ में विश्वास करते हैं और शराबबंदी पर बोलने से नहीं हिचकिचाएंगे।
महिलाओं के वोट की चिंता नहीं
उन्होंने कहा, ‘चाहे मुझे महिलाओं का वोट मिले या न मिले, मैं शराबबंदी के खिलाफ बोलता रहूंगा क्योंकि यह बिहार के हित में नहीं है। किशोर बिहार में 2016 से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार द्वारा लागू की गई शराबबंदी की मुखर आलोचना करते रहे हैं. विपक्ष ने भी इस नीति की आलोचना की है क्योंकि यह नकली शराब के सेवन से होने वाली मौतों और मेथनॉल से होने वाले अंधेपन को नियंत्रित करने में असमर्थ है। राज्य में शराब पर पूर्ण प्रतिबंध की मांग को लेकर महिलाओं द्वारा बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन किए जाने के बाद यह प्रतिबंध लगाया गया था। प्रशांत किशोर ने तेजस्वी यादव और नीतीश कुमार दोनों पर बिहार के हितों को नुकसान पहुंचाने का आरोप लगाया।
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