रायपुर- भाजपा प्रदेशाध्यक्ष व नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक ने राहुल के छत्तीसगढ़ दौरे पर व्यक्त विचारों पर प्रतिक्रिया में कहा कि देश भर में लाखों किसानों की दुर्दशा की जिम्मेदार कांग्रेस पार्टी, लाखों किसानों को आत्महत्या के लिए मजबूर करने वाली कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष ने प्रायश्चित का एक अवसर खो दिया। झूठ का सहारा लेकर किसानों के चेहरों में खुशी का भ्रम पाले कांग्रेसी और इसके राष्ट्रीय अध्यक्ष अच्छे से जान रहे हैं कि देश के अन्नदाताओं को वे गुमराह कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि लिंकिंग का पैसा वापस कर उसे ऋणमाफी कहने के बदले कांग्रेस पार्टी से आज अन्य ऋणों की माफी कब तक करेंगे, जैसी घोषणा अपेक्षित थी, इसके बदले वेे शासकीय कार्यक्रम को राजनीति का अखाड़ा बनाकर अपने ही नेताओं के तुष्टिकरण में उलझे रहे। वादों को निभाने की झूठी तस्वीर पेश करने वाले कांग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अन्नदाताओं की आकांक्षाओं को पूरा करने के बजाय झूठ फैलाकर सत्ता की दौड़ का मंच बनाने की दिशा में आतुर है; ऐसा लगता है।
धरमलाल कौशिक ने कहा कि पुरी दुनिया के रिपोर्ट और मोदी सरकार के साढ़े चार वर्ष के कार्यकाल एक राष्ट्र देश पहले की भावना को जहां सार्थक कर रहा है, वहीं राहुल गांधी उन नामों को धड़ल्ले से उजागर करते हैं, जिनकी करतुतें यूपीए की देन है। भ्रम फैलाकर छत्तीसगढ़ की जनता को गुमराह करने के कुत्सित मंसूबे में कामयाबी का सपना संजोये कांग्रेस अध्यक्ष आरोप लगाने से पहले चिंतन कर लें वे स्वयं जमानत पर हैं, और एक जमानतशुदा आदमी उनकी मेहमानबाजी कर रहा है। जमानतशुदा मौसेरे भाई चौकीदार पर ऊंगली उठा रहे हैं, यह तो उल्टा चोर कोतवाल को डांटने वाली बात हुई। देश के दो हिस्से होने जैसे भ्रम फैलाने वाले राहुल गांधी न सिर्फ भाषायी मर्यादा की सीमा लांघते हैं, वरन राष्ट्र विरोधी ताकतों को ऊर्जा भी देते नजर आते हैं। वे यह ना भूले कि हिन्दुस्तान और विशेषकर छत्तीसगढ़ की जनता अपना भला बुरा अच्छे से समझती है।
कौशिक ने कहा कि घोषणापत्र पर अमल करने के बजाय मुकरने के नित्य उदाहरण पेश कर रही सरकार के घोषणावीर मुख्यमंत्री भूपेश जनता से किये वादों को पूरे करने की दिशा में आगे बढ़ें। समाज, जनता, बजट जैसे झूठ का सहारा लेकर वादा खिलाफी का परिणाम क्या होगा यह वे अच्छे से जानते हैं। उन्होंने देश की गरीब जनता को न्यूनतम वेज दिये जाने के कांग्रेस पार्टी की घोषणा पर कहा कि पूर्व से ही हमारी पार्टी और प्रधानमंत्री मोदी जी इस दिशा में कार्यरत है। सुर्खियों में रही इसी परिकल्पना को राहुल आननफानन में बिना होमवर्क के घोषणा में तब्दील कर रहे हैं, पहले वे स्पष्ट करें कितना न्यूनतम वेज होगा औरक्या स्वरूप होगा इसका।