पुरुषोत्तम पात्रा गरियाबन्द। थाईलैंड के दौरे से लौट कर शनिवार को स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंह देव अधिकारियों के साथ सीधे सुपेबेड़ा पहुंचे और किडनी प्रभावित ग्रामीणों से मुलाकात की. किडनी प्रभावित गांव में शुद्ध पेयजल आपूर्ति के लिए उनके साथ पहुंचे पीएचई मंत्री रुद्र गुरु ने तेल नदी से पानी सप्लाई की नई योजना को मंजूरी दी. ग्रामीणों से बातचीत में स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि सुपेबेड़ा समेत आसपास के प्रभावित सभी 7 गांव की जिम्मेदारी हमारी है. उन्होंने कहा कि पूर्व सरकार में हुई चूक की मौजूदा सरकार पुनरावृत्ति नहीं करेगी.
ग्रामीणों के सामने हाथ जोड़ा और अपना नंबर दिया
स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव ने किडनी प्रभावित ग्रामीणों को उनके समुचित इलाज कराने का भरोसा दिलाया. अपने सौम्य स्वभाव के लिए पहचाने जाने वाले सिंह देव ने ग्रामीणों के सामने हाथ जोड़कर इलाज के लिए रायपुर चलने के लिए कहा, उन्होंने कई बार अनुरोध भी किया और कहा कि शासन आपकी मदद करेगी, आप शासन कि मदद कीजिये. इसके साथ ही उन्होंने ग्रामीणों को अपना मोबाइल नंबर देते हुए कहा कि इलाज में कहीं कोई तकलीफ हुई तो सीधे फोन करना. उन्होंने कहा कि पहले जो हुआ भूल जाइये अब शिकायत का अवसर नहीं मिलेगा. अब शिकायत का अवसर नहीं मिलेगा
पूर्व प्रधानमंत्री ने डायलिसिस करा कर उम्र लंबी की
किडनी की बीमारी से पीड़ित को डायलिसिस कराना पड़ता है. जिसे लेकर ग्रामीणों के मन में डर समाया हुआ था. सिंहदेव को इसके बारे में पता चलते ही उन्होंने ग्रामीणों के मन से डर दूर करने के लिए पूर्व प्रधानमंत्री वीपी सिंह का उदाहरण दिया और कहा कि वीपी सिंह डायलिसिस कराकर 17 अपनी आयु लंबी कर लिये थे.
जांच करने वालों के पास कोई जानकारी नहीं
वहीं पत्रकारों से चर्चा करते हुए उन्होंने पूर्व सरकार पर हमला बोलते हुए कहा कि पिछली सरकार में सरकारी इलाज को लेकर पीड़ितों का मोहभंग हो गया था. उन्होंने कहा कि पिछले दो साल से जिन लोगो ने जांच किया है उनसे यहां आने से पहले इन इलाकों में फैली किडनी की बीमारी को लेकर जानकारी मांगी लेकिन उनके पास कारण के नाम पर कोई भी जानकारी नहीं है. जिसने चौंका दिया. पत्रकारों से चर्चा में उन्होंने माना कि यहां उच्च स्तरीय शोध की आवश्यकता है जिससे बीमारी के कारणों का पता लग सकेगा. उसके बाद ही इसका समाधान निकाला जा सकता है.
आपको बता दें कि सिंहदेव स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के साथ प्रदेश में निशुल्क इलाज का फार्मुला जानने थाइलैंड गए थे. जहां उन्होंने सरकार द्वारा जनता को मुफ्त इलाज प्रदान करने के लिए उठाए गए तमाम कदमों की बारीकी से जानकारी ली. अपनी यात्रा के बाद वे आज ही दिल्ली पहुंचे और वहां से लौटने के बाद सीधे सुपेबेड़ा जाकर किडनी प्रभावितों से मुलाकात किये. गौरतलब है कि दो दिन पहले एक और ग्रामीण की किडनी बीमारी से मौत हो गई थी और यहां मौतों का आंकड़ा बढ़कर 70 हो गया है.
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