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पुष्पलेश द्विवेदी, सिंगरौली। मध्यप्रदेश में बाघों की मौत का सिलसिला थम नहीं रहा है। करीब एक सप्ताह पूर्व सिंगरौली जिले के माडा के जंगल में आई कॉलर बाघिन का शव मिलने से वन विभाग में हड़कंप मच गया। डीएफओ (DFO) अखिल बंसल ने की बाघिन की मौत की पुष्टि की है। डॉग स्कॉट की टीम घटनास्थल के लिए रवाना हो गई है। शव का पीएम के बाद मौत की वजह स्प्ष्ट होगी।
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बता दें कि संजय गांधी नेशनल पार्क व वन विभाग सिंगरौली की टीम संयुक्त रूप से बाघिन के तलाश में लगी थी। आज माडा रौंदी के जंगल में शव मिलने की जानकारी मिलते ही हड़कंप मच गया। अधिकारी मामले को लेकर कुछ भी जानकारी देने से बचते रहे। हालांकि बाद में डीएफओ अखिल बंसल ने मौत की पुष्टि कर दी। वे आज मामले को लेकर खुलासा कर सकते हैं। बताया जाता है कि संजय गांधी रिजर्व टाइगर एरिया से बाघिन भाग कर आई थी। नेशनल टाइगर कंजर्वेशन ऑथोरिटी (एनटीसीए) के आंकड़ों के मुताबिक मध्यप्रदेश में 2012 से 2024 के बीच 355 बाघों की मौत दर्ज हुई। इसी अवधि में महाराष्ट्र में 261, कर्नाटक में 179 और उत्तराखंड में 132 बाघों की मौत रिकॉर्ड में दर्ज हुई है। तीनों ही राज्य बाघों की संख्या के मामले में शीर्ष 5 राज्यों में शामिल हैं।
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