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कानपुर. यूपी का सिस्टम अलबेला है… अलबेला ऐसा कि यहां मरीजों के न आने पर भी इलाज हो जाता है. ये बात केवल बात ही नहीं हकीकत है. हुआ यूं कि एक डॉक्टर साहिबा ने मुख्यमंत्री आरोग्य मेला के नाम पर खेला कर दिया. खेला ऐसा कि बिना मरीजों के आए ही मैडम ने 25 मरीजों का इलाज कागजों में कर दिया. जिसकी एंट्री भी रजिस्टर में की गई. हालांकि, मैडम की चोरी जिलाधिकारी कानपुर जितेंद्र प्रताप सिंह ने पकड़ ली और उनकी पोल खुल गई.
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बता दें कि पूरा मामला बिरहाना रोड अर्बन PHC सेंटर का है. जहां रविवार यानी आज मुख्यमंत्री आरोग्य मेला लगा और सुविधाओं के जांच करने डीएम जितेंद्र प्रताप सिंह अचानक पहुंच गए. जांच के दौरान डीएम साहब ने मरीजों के रजिस्टर की जांच की. जांच के दौरान उन्हें वहां मौजूद डॉक्टर दीप्ति गुप्ता के रिकार्ड पर शक हुआ. फिर क्या था रजिस्टर में दर्ज मरीजों के नंबर पर डीएम साहब ने फोन घुमा दिया.
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मरीज से बातचीत कर डीएम जितेंद्र प्रताप सिंह ने पूछा कि आपकी तबियत कैसी है. डॉक्टर साहिबा इलाज कैसा कर रही हैं, दवाएं मिल रही हैं कि नहीं. जिस पर मरीज का जवाब आय़ा कि साहब हम तो बीमार नहीं हैं, हॉस्पिटल क्यो जाएंगे? फिर क्या DM साहब ने दूसरे, तीसरे कर सबको फोन लगवाया. तब पता चला कि सब एकदम ठीक हैं और अपने घर पर हैं. उनका इलाज सिर्फ सरकारी कागजों में हो रहा था. उसके बाद डीएम ने दोषी डॉक्टर और मेडिकल अफ़सर के ख़िलाफ़ शासन को कार्रवाई करने का पत्र भेज दिया.
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