दिल्ली की राजनीति में एक नई बहस शुरू हुई है. इस बार बहस का मूल एक चित्र है. भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने आम आदमी पार्टी (AAP) पर हमला बोलते हुए कहा कि अरविंद केजरीवाल की तस्वीर को शहीद भगत सिंह और बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर के साथ बीच में क्यों लगाया गया है?

बीजेपी ने अरविंद केजरीवाल की तस्वीरों को मुद्दा बनाने के मुद्दे पर आम आदमी पार्टी ने बीजेपी के आरोपों को खारिज कर दिया है. AAP नेताओं का कहना है कि केजरीवाल हमेशा अंबेडकर और भगत सिंह के विचारों से प्रेरित रहे हैं.

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असल मुद्दों पर बात करे BJP

AAP का कहना है कि यह कोई मुद्दा नहीं है, लेकिन बीजेपी जनता को असली मुद्दों से भटकाने के लिए इस तरह की बातें कर रही है. आप कहते हैं कि बीजेपी वास्तविक मुद्दों जैसे बेरोजगारी, महंगाई और दिल्ली की सफाई पर बात करनी चाहिए, लेकिन वह सिर्फ बेकार की बातें कर रही है.

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क्या केजरीवाल अंबेडकर और भगत सिंह से बड़े हैं? 

बीजेपी ने सुनीता केजरीवाल की एक फोटो को ट्वीट किया, जिसमें तीन तस्वीरें हैं: बाबा साहेब अंबेडकर, शहीद भगत सिंह और दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल दोनों के बीच में खड़े हैं. बीजेपी ने सवाल उठाया कि क्या केजरीवाल खुद को इन महान लोगों से बड़ा मानते हैं?

भारतीय जनता पार्टी ने अरविंद केजरीवाल को ‘महाठग’ और ‘शराब के ठेकेदार’ बताया है, जबकि बीजेपी ने कहा कि यह आम आदमी पार्टी का असली चरित्र भी है.

विवाद की जड़ क्या है?

यह विवाद शुरू हुआ जब आप नेता आतिशी ने बीजेपी पर आरोप लगाया कि दिल्ली की नई सीएम रेखा गुप्ता ने शहीद भगत सिंह और बाबा साहेब अंबेडकर की तस्वीरें अपने दफ्तर से हटा दीं. AAP विधायकों ने सदन में हंगामा भी किया. इसके बाद बीजेपी ने पलटवार करते हुए यह नया विवाद शुरू किया.

दिल्ली की राजनीति में ऐसा विवाद पहले कभी नहीं हुआ है. बीजेपी पहले भी केजरीवाल सरकार पर शराब नीति पर हमला कर चुकी है, जिसके बारे में बीजेपी का कहना है कि आम आदमी पार्टी गलत तरीके से खुद को महापुरुषों के बराबर रखने की कोशिश कर रही है.