Join Whatsapp Group

यहाँ क्लिक करें

खरमास, जिसे मलमास भी कहा जाता है, हिंदू पंचांग के अनुसार एक ऐसा समय होता है जब सूर्य देव बृहस्पति ग्रह की राशि धनु या मीन में प्रवेश करते हैं। हिंदू पंचांग के अनुसार खरमास एक ऐसी अवधि होती है, जब शुभ कार्यों को करने से बचने की सलाह दी जाती है। इसका प्रारंभ 14 मार्च से हो चुका है और इसका समापन तेरा अप्रैल को होगा जब सूर्य मीन राशि से निकलकर मेष राशि में प्रवेश करेंगे।

खरमास के दौरान वर्जित कार्य

  • शादी-विवाह: इस दौरान विवाह करना अशुभ माना जाता है।
  • गृह प्रवेश: नए घर में प्रवेश करना या गृह निर्माण कार्य शुरू करना वर्जित होता है।
  • नया व्यापार: किसी नए व्यवसाय की शुरुआत इस अवधि में नहीं की जाती।
  • मुंडन संस्कार: इस दौरान छोटे बच्चों का मुंडन करवाना भी निषेध माना जाता है।
  • मंगल कार्य: किसी भी प्रकार के मांगलिक कार्य, जैसे सगाई, जनेऊ, या नामकरण संस्कार नहीं किए जाते।
  • संपत्ति खरीदना: घर, जमीन, गाड़ी आदि की खरीदारी भी टालने की सलाह दी जाती है।
  • गहनों की खरीदारी: खरमास में सोना-चांदी जैसी बहुमूल्य वस्तुओं की खरीदारी से बचना चाहिए।

इस दौरान क्या करें?

  • भगवान विष्णु की उपासना करें।
  • दान-पुण्य करें, विशेष रूप से गायों को चारा खिलाना शुभ माना जाता है।
  • भगवद्गीता और रामायण का पाठ करें।
  • संयमित जीवनशैली अपनाएं और सात्त्विक भोजन करें।