दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता(Rekha Gupta) ने 28 सरकारी अस्पतालों के मेडिकल डायरेक्टर और सुपरिटेंडेंट को बदलने का निर्णय लिया है,. जिसमें दिल्ली के सबसे बड़े अस्पताल, LNJP के मेडिकल डायरेक्टर डॉ. सुरेश कुमार का नाम भी शामिल है. डॉ. सुरेश कुमार पिछले 5 वर्षों से लोक नायक अस्पताल के मेडिकल डायरेक्टर के पद पर कार्यरत थे. यह कदम सरकारी अस्पतालों की स्वास्थ्य व्यवस्था को सुधारने के लिए उठाया गया है, क्योंकि ये अधिकारी लंबे समय से अपने पदों पर बने हुए थे और उन पर भ्रष्टाचार जैसे गंभीर आरोप भी लगे थे. इस कार्रवाई को दिल्ली की स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है.
दिल्ली के प्रमुख अस्पतालों, जैसे लोक नायक जय प्रकाश (एलएनजेपी) अस्पताल, के कई मेडिकल डायरेक्टर और सुपरिटेंडेंट पिछले पांच वर्षों से एक ही पद पर बने हुए थे. केंद्रीय सतर्कता आयोग (CVC) की गाइडलाइन के अनुसार, कोई भी व्यक्ति 3 साल से अधिक समय तक प्रशासनिक पद पर नहीं रह सकता. इसके बावजूद, इन अधिकारियों ने न केवल अपने पदों को लंबे समय तक बनाए रखा, बल्कि कई मामलों में एक ही अधिकारी को तीन से चार अस्पतालों का प्रभार भी सौंपा गया. इस अवधि में, उन पर फर्जी मरीजों के नाम पर धन की हेराफेरी, नकली दवाओं का वितरण और कोविड काल में संसाधनों के दुरुपयोग जैसे गंभीर आरोप भी लगे.

विभाग के अनुसार, अधिकारियों के तबादले में शामिल प्रमुख अस्पतालों में एलएनजेपी अस्पताल, गुरु तेग बहादुर अस्पताल, दीन दयाल उपाध्याय अस्पताल, डॉ. बाबा साहेब अंबेडकर अस्पताल और लोकनायक अस्पताल शामिल हैं. दिल्ली के लोकनायक अस्पताल में डॉक्टर बीएल चौधरी को नया चिकित्सा निदेशक नियुक्त किया गया है, जो पहले दीन दयाल उपाध्याय अस्पताल में कार्यरत थे.
डॉ. सुरेश कुमार, जो पहले लोकनायक अस्पताल के चिकित्सा अधीक्षक थे, को अब अंबेडकर मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य और निदेशक के पद पर नियुक्त किया गया है. इसी क्रम में, लोकनायक अस्पताल के हड्डी रोग विभाग के प्रोफेसर विनोद कुमार को जीटीबी अस्पताल का चिकित्सा अधीक्षक बनाया गया है, जबकि प्रोफेसर आबिद गिलानी को जीबी पंत अस्पताल का चिकित्सा निदेशक नियुक्त किया गया है.
स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के अनुसार, यह निर्णय स्वास्थ्य सेवाओं के प्रबंधन में सुधार और कार्यकुशलता को बढ़ाने के लिए लिया गया है. नए तैनात किए गए अधिकारियों को निर्देशित किया गया है कि वे शीघ्रता से अपने नए पदों पर कार्यभार संभालें.
दिल्ली के अस्पतालों में बड़े पैमाने पर तबादला
मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने हाल ही में विधानसभा में प्रस्तुत नियंत्रक और महालेखा परीक्षक (CAG) की रिपोर्ट का उल्लेख करते हुए कहा कि पूर्व सरकार ने स्वास्थ्य व्यवस्था को गंभीर रूप से प्रभावित किया. नकली दवाओं, फर्जी मरीजों और संसाधनों की बर्बादी ने दिल्ली के अस्पतालों की स्थिति को अत्यंत खराब कर दिया है.
इस संदर्भ में, दिल्ली सरकार ने उन अधिकारियों को तुरंत हटाने का निर्णय लिया है, जो लंबे समय से अपने पदों पर थे और जिनके खिलाफ भ्रष्टाचार के सबूत मिले हैं. एलएनजेपी अस्पताल के नए मेडिकल डायरेक्टर के रूप में बी एल चौधरी की नियुक्ति की गई है, जो पहले दीन दयाल उपाध्याय अस्पताल के मेडिकल सुपरिटेंडेंट थे. इसके अलावा, अन्य 27 अस्पतालों के मेडिकल डायरेक्टर्स और सुपरिटेंडेंट्स को भी बदला गया है.
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