शिखिल ब्यौहार, भोपाल। झारखंड और बिहार के बाद अब मध्यप्रदेश में भी मखानों की खेती की जाएगी। इसके लिए राज्य सरकार ने पायलट प्रोजेक्ट को मंजूरी दे दी है। इसके अंतर्गत प्रदेश के चार जिले बालाघाट, सिवनी, छिंदवाड़ा और होशंगाबाद को पायलट प्रोजेक्ट के लिए चुना गया है। मखाना बोर्ड दिल्ली से भी सरकार को मंजूरी मिल गई है। 

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उत्पादन से 30 फीसदी सस्ता मिलेगा मखाना

प्रदेश में मखानों की खेती के लिए हॉर्टिकल्चर विभाग ने भी खाका तैयार कर लिया है। उत्पादन से 30 फीसदी मखानासस्ता मिलेगा। मध्य प्रदेश के किसानों को मखाना उत्पादन ट्रेनिंग के लिए बिहार भेजा जाएगा। विभाग ने चयनित जिलों का पहले सर्वे किया था। इसके बाद पायलट प्रोजेक्ट के तहत इन्हें चुना गया है। 

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इस वजह से चार जिलों का किया चयन 

मखाना खेती के लिए उपयुक्त काली के साथ रेतीली मिट्टी और जल भराव क्षेत्र से एमपी के चारों जिले सम्पन्न हैं। इसके लिए हॉर्टिकल्चर विभाग किसानों को  बीज उपलब्ध कराएगा। इसमें 40 फीसदी का अनुदान प्रदेश सरकार देगी। एक हेक्टेयर में मखाना खेती का अनुमानित लागत लगभग 75 हजार है। किसानों को 35 हजार रुपए लगाने होंगे। बता दें कि बाजार में मखाना 1600 से 1700 रुपए प्रति किलो बिकता है। ऐसे में अगर सही तरह से मध्य प्रदेश में इसका उत्पादन होगा तो यह प्रदेश में लोगों को कम दाम में मुहैया हो सकता हैं। 

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