2025 की पहली छमाही में शेयर बाजार में जबरदस्त हलचल देखने को मिली. सेंसेक्स ने इस दौरान 7.1% की छलांग लगाई, वहीं भारत के शीर्ष 20 उद्योगपतियों की औसत संपत्ति 15.6% बढ़ी. लेकिन कुछ कारोबारी ऐसे भी रहे, जिनकी संपत्ति में यह बढ़त महज आंकड़ा नहीं, बल्कि वित्तीय विस्फोट साबित हुई. सबसे तेज रफ्तार से दौड़ लगाने वाले कारोबारी रहे सोलर इंडस्ट्रीज के सत्यनारायण नुवाल, जिनकी कुल नेटवर्थ 78% बढ़कर ₹67,527 करोड़ तक पहुंच गई.

डिफेंस स्टॉक बना दौलत की मशीन
नुवाल की कंपनी ने डिफेंस, ड्रोन और डेटोनेटर के कारोबार में धमाकेदार ग्रोथ दर्ज की. सरकारी सपोर्ट और 17,000 करोड़ रुपये की मजबूत ऑर्डर बुक के चलते सोलर इंडस्ट्रीज का शेयर 6 महीने में 81% तक उछल गया.
सत्यनारायण नुवाल ने 18 साल की उम्र में बिजनेस शुरू किया था. सरकारी कर्मचारी के बेटे से देश के सबसे बड़े डिफेंस सप्लायर बनने तक का उनका सफर आज बड़ी मिसाल बन चुका है.
दूसरे बड़े नाम जिन्होंने कमाया शानदार मुनाफा
- मुरली दिवि (दिविज लैब): नेटवर्थ ₹95,734 करोड़ | 9% रिटर्न
अमेरिका में साइंटिस्ट से लेकर फार्मा किंग बनने का उनका सफर किसी फिल्मी कहानी से कम नहीं. - विक्रम लाल (आयशर मोटर्स): नेटवर्थ ₹87,186 करोड़ | 16% रिटर्न
रॉयल एनफील्ड का दबदबा कायम रखते हुए 500-800cc बाइक सेगमेंट पर 96% कब्जा जमाया. - बेनू बांगड़ (श्री सीमेंट): नेटवर्थ ₹72,655 करोड़ | 20% रिटर्न
कम कीमत में हाई क्वालिटी सीमेंट ने तीन गुना रिटर्न दिया. - मुकेश अंबानी (रिलायंस): नेटवर्थ ₹9.44 लाख करोड़ | 22% ग्रोथ
टेलीकॉम और रिटेल के विस्तार से संपत्ति में तेजी से इजाफा हुआ. - सुनील मित्तल (एयरटेल): नेटवर्थ ₹2.6 लाख करोड़ | 27% रिटर्न
शेयर में उछाल के चलते दौलत नई ऊंचाई पर पहुंची. - लक्ष्मी मित्तल (आर्सेलर मित्तल): नेटवर्थ ₹2.11 लाख करोड़ | 26% ग्रोथ
स्टील सेक्टर में रिकवरी का फायदा मिला. - राधाकिशन दमानी (डीमार्ट): नेटवर्थ ₹1.69 लाख करोड़ | 21% रिटर्न
सटीक विस्तार नीति से तगड़ा मुनाफा कमाया. - राहुल भाटिया (इंडिगो): नेटवर्थ ₹92,315 करोड़ | 25% ग्रोथ
इंडिगो की उड़ान स्टॉक एक्सचेंज पर भी बनी रही.
कुछ को नुकसान भी झेलना पड़ा
हालांकि, जहां 14 उद्योगपतियों की दौलत में 8.5% से ज्यादा बढ़त दर्ज हुई, वहीं 6 दिग्गजों की संपत्ति घटी. सबसे ज्यादा नुकसान रवि जयपुरिया को हुआ, जिनकी संपत्ति 24.6% घट गई.
स्टॉक नहीं, विजन ने दिलाई कामयाबी
इस रिपोर्ट ने साबित किया कि असली ग्रोथ सिर्फ शेयर बाजार की चाल से नहीं, बल्कि दूरदर्शिता, रणनीति और इनोवेशन से मिलती है. जिसने सही वक्त पर टेक्नोलॉजी और विस्तार को अपनाया—उसकी संपत्ति ने सेंसेक्स को भी पीछे छोड़ दिया.
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