रायपुर। पर्यावरण संरक्षण की दिशा में रायपुर ज़िला प्रशासन ने एक महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए अनोखी पहल की है। सरकारी अस्पतालों में जन्म लेने वाले बच्चों को ज़िला प्रशासन की ओर से 5 फलदार पौधे भेंट किए जाएंगे। बालपन से ही पर्यावरण के प्रति बच्चों का भावनात्मक जुड़ाव विकसित हो सके, इस उद्देश्य से कलेक्टर डॉ. गौरव कुमार सिंह के नेतृत्व में ग्रीन पालना कार्यक्रम जल्द ही शुरू किया जाएगा, जिसमें बच्चे के जन्म के बाद आम, अमरूद, कटहल, पपीता और मुनगे का पेड़, साथ ही प्रमाण पत्र माता-पिता को दिए जाएंगे।

पुरातन परंपरा से प्रेरित अभियान, बच्चों को बालपन से होगा प्रकृति से लगाव

कलेक्टर डॉ. गौरव कुमार सिंह ने बताया कि पुरातन परंपराओं से लोगों को जोड़ने ज़िला प्रशासन एक प्रयास कर रहा है। पहले पारंपरिक रूप से बच्चे गांव-घर की बाड़ियों में खेला करते थे, जिससे प्रकृति के प्रति उनका प्रेम शुरू से ही होता था, लेकिन समय के साथ शहरों में इसका अभाव बढ़ता जा रहा है। ऐसे में पेड़ लगाने और प्रकृति के प्रति बच्चों के मन में संवेदना निहित रहे, इसके लिए यह पहल की जा रही है। ताकि जब बच्चा बड़ा हो, तब उसे इस बात का भान हो कि ये पेड़ उसके जन्म के साथ हैं। यह भाव उन्हें पेड़ों से जोड़ेगा और किसी भी परिस्थिति में वे पेड़ काटने से बचेंगे।

पेड़ों की सुरक्षा के लिए आधुनिक तकनीकों से की जाएगी मॉनिटरिंग

ज़िला प्रशासन पेड़ों को सिर्फ़ भेंट करने तक सीमित नहीं रहेगा। यह प्रयास पर्यावरण संरक्षण के लिए है, इसलिए विभिन्न माध्यमों से पेड़ों को सुरक्षित करने की व्यवस्था भी की जाएगी। इसके लिए आधुनिक तकनीकों का उपयोग किया जाएगा। अभिभावकों से यह अपील की जाएगी कि जब वे बच्चों की देखभाल करें, तो उनकी स्वस्थ जीवन की कामना करें, और यह समझें कि जीवन प्रकृति के बिना अधूरा है, इसलिए पौधों का भी उतना ही देखभाल करें और उन्हें सुरक्षित रखें। लेकिन अभिभावकों के साथ-साथ ज़िला प्रशासन भी इन पौधों की मॉनिटरिंग करेगा ताकि उन्हें कोई काटे नहीं और वे सुरक्षित रहें।

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