देहरादून। उत्तराखंड के पूर्व सीएम हरीश रावत ने धामी सरकार पर जमकर हमला बोला। उन्होंने कहा कि अतिथि शिक्षक, एक तरफ तो सरकार उनको भार मानकर चल रही है। जबकि वास्तविकता यह है कि अतिथि शिक्षक हमारे उत्तराखंड की शिक्षा का भार उठाये हुए हैं। दूसरी तरफ अब पंचायत चुनावों में उनकी ड्यूटी लगाई जा रही है।
नियमानुसार उनकी ड्यूटी नहीं लग सकती
हरीश रावत ने आगे कहा कि नियमानुसार उनकी ड्यूटी नहीं लग सकती, इसलिए यदि किसी के साथ ड्यूटी के दौरान कुछ अनचाहा घटित हो जाए तो उनको वह सुरक्षा राशि नहीं मिल सकती जो अन्य को ऐसी स्थिति में प्राप्त है और फिर यही नहीं उनकी ड्यूटी चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारी के रूप में लगाई गई है।
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पूर्व सीएम ने बताया कि उनमें से अधिकांश शिक्षक प्रवक्ता/सहायक अध्यापक हैं। प्रवक्ता गणों/अतिथि शिक्षकों की इस पुकार को कोई सुनेगा? खैर मैं उनकी इस पुकार को आज ही नहीं कल भी लगाऊंगा।
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