सोहराब आलम, मोतिहारी। जिले के सुगौली प्रखंड के एक प्राथमिक विद्यालय भटवा टोला में एमडीएम द्वारा छात्रों का खाना देते समय चावल में मरा हुआ मकड़ा निकला, जिसको लेकर बच्चों ने किसी अनहोनी की आशंका जताते हुए जमकर हो-हल्ला मचाने लगे। वहीं, स्थिति बिगड़ता देख एनजीओ ने खाना वापस मंगवाया। पूरा मामला नगर पंचायत के वार्ड 11 स्थित राजकीय प्राथमिक विद्यालय का है।

बच्चों की सेहत पर पड़ सकता था बुरा असर

खाना में मरा हुआ मकड़ा और छात्रों के आक्रोश को देखते हुए प्रधानाध्यापक कलीमूउल्ला अंसारी ने तुरंत इसकी सूचना एनजीओ और प्रखंड मध्यान प्रभारी सचितानंद सिंह को दी। सूचना मिलने पर एमडीएम प्रभारी खाना छात्रों को नहीं खिलाने और एनजीओ को वापस कर देने को कहा साथ ही नगर क्षेत्र के सभी विद्यालयों के एचएम को दूषित खाना लेने से मना कर दिया। संयोग अच्छा था कि छात्रों ने खाना में मरा मकड़ा देख लिया अन्यथा दूषित खाना-खाने पर छात्रों के स्वास्थ्य पर बुरा प्रभाव पड़ सकता था।

छात्रों ने दी प्रधानाध्यापक को सूचना

पांचवी कक्षा के छात्र अल्तमस, आसीफ,वाजिद अंसारी,सकील अंसारी और मुन्ना अंसारी सहित अन्य ने बताया कि, एमडीएम का खाना गाड़ी से आया, एनजीओ वाले खाना निकाल कर दें रहें थे। इसी क्रम में खाना में मरा हुआ मकड़ा नजर आया जब छात्रों ने मकड़ा के बारे में बताया तो एनजीओ वाले छात्रों को इसकी जानकारी प्रधानाध्यापक को देने से मना किया, लेकिन छात्रों ने इसकी जानकारी एचएम को दी और एचएम ने इसकी सूचना विभाग को दी।

विद्यालय में भोजन बनाने की मांग

विधालय की रसौईया बेगम खातुन,तसिमा खातुन और तमन्ना खातुन ने खाना में मकड़ा मिलने की बात बताई और कहा कि खाना बच्चों को नहीं खिलाकर वापस कर दिया गया। वहीं, मौके पर पहुंचे एमडीएम प्रभारी सचितानंद सिंह ने बताया कि, एनजीओ के खाना में मकड़ा मिलने के कारण खाना वापस कर दिया गया और एनजीओ को शख्स हिदायत दी गई है।

वहीं विद्यालय की शिक्षा समिति की सचिव अमिना खातुन ने आक्रोश जाहिर करते हुए कहा कि, एनजीओ का खाना दूषित आता है, जिससे छात्रों को खिलाने पर उनके जीवन पर खतरा बन सकता है। इसलिए विद्यालय में ही छात्रों के लिए एमडीएम बनवाया जाए।

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