मुजफ्फरनगर. सांसद इकरा हसन ने एडीएम पर अभ्रदता करने के आरोप लगाए हैं. अब इस मामले में सियासत शुरू हो गई है. सियासत ऐसी कि अब सपा सांसद हरेंद्र मलिक ने न्याय दिलाने के लिए सड़क से संसद तक की लड़ाई लड़ने की बात कह दी है. हरेंद्र मलिक ने महापंचायत करने का ऐलान किया है.

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सपा सांसद हरेंद्र मलिक ने कहा, इकरा हसन के साथ जो कुछ हुआ, वह बेहद निंदनीय है और इसे किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. कांवड़ यात्रा संपन्न होने के बाद मुजफ्फरनगर में राजकीय इंटर कॉलेज के मैदान पर एक बड़ी महापंचायत आयोजित की जाएगी, जिसमें इकरा हसन को न्याय दिलाने और समाज में सौहार्द कायम रखने की दिशा में रणनीति तय की जाएगी. यह सिर्फ एक महिला का मामला नहीं, बल्कि संविधान, समानता और आवाज उठाने के अधिकार का मामला है. यह लड़ाई सड़क से संसद तक लड़ी जाएगी.

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क्या है पूरा मामला

कैराना सांसद इकरा हसन का आरोप है कि वे 1 जुलाई को छुटमलपुर की विभिन्न समस्याओं को लेकर छुटमलपुर नगर पंचायत की अध्यक्षा शमा परवीन के साथ एडीएम संतोष बहादुर सिंह के पास पहुंची थी. इस दौरान एडीएम के लंच पर जाने की बात कहकर पत्राचार के द्वारा समस्या देने की बात कही गई. वहीं लंच के बाद 3 इकरा हसन जब नगर पंचायत अध्यक्ष एडीएम के कार्यालय में पुहंंची और एडीएम से मिलीं तो अफसर ने बुरा बर्ताव करते हुए उन्हें कार्यालय से बाहर निकलने कहा. इतना ही नहीं यह भी कहा कि उनका कार्यालय है, अपने मन से जो चाहे वह करने के लिए स्वतंत्र हैं. जिसके बाद सासंद ने एडीएम की शिकायत कर जांच की मांग की, जिस पर मंडलायुक्त ने जिलाधिकारी को जांच के आदेश दिए हैं.

वहीं मामले को लेकर एडीएम संतोष बहादुर सिंह का कहना है कि 1 जुलाई को सांसद इकरा हसन मिलने आई थीं, लेकिन उस समय वे मीटिंग में व्यस्त थे. सांसद को सम्मानपूर्वक बैठाया गया था और उनके साथ कोई गलत व्यवहार नहीं हुआ. सांसद द्वारा लगाए गए सभी आरोप निराधार हैं.