आशुतोष तिवारी, जगदलपुर. नेशनल हेल्थ मिशन (एनएचएम) के कर्मचारी पिछले 15 दिनों से नियमितीकरण समेत 10 सूत्री मांगों को लेकर अनिश्चितकालीन हड़ताल पर हैं। अपनी मांगों को सरकार तक पहुंचाने के लिए उन्होंने अब बेहद अनोखा और भावनात्मक कदम उठाया है। कर्मचारियों ने अपने खून से 100 पत्र लिखकर प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री, स्वास्थ्य मंत्री और राज्यपाल को भेजा है।
NHM कर्मचारियों का कहना है कि यह कदम उन्होंने मजबूरी में उठाया है, ताकि सरकार उनकी पीड़ा को समझे। उनका आरोप है कि पिछले कई वर्षों से 10 सूत्री मांगों को लेकर वे आंदोलन कर रहे हैं, लेकिन सरकार उनकी एक भी नहीं सुन रही। सबसे बड़ी मांग नियमितीकरण की है, जो घोषणा पत्र में शामिल होने के बावजूद अब तक पूरी नहीं हुई है।



मांगें पूरी होने तक जारी रहेगी हड़ताल
कर्मचारियों का कहना है कि स्थायी नियुक्ति न मिलने से उनका भविष्य असुरक्षित है और परिवार आर्थिक संकट में जीने को मजबूर है। एनएचएम कर्मचारियों का यह विरोध अब भावनात्मक रूप ले चुका है और उनका कहना है कि जब तक मांगें पूरी नहीं होंगी, हड़ताल जारी रहेगी।
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