ललित ठाकुर, राजनांदगांव। जिले के बजरंगपुर-नवागांव में 7 सितंबर को हुए आपसी विवाद के चलते ट्रिपल मर्डर से पूरा क्षेत्र दहला हुआ है। इस बीच आज प्रदेश कांग्रेस कमेटी द्वारा वरिष्ठ नेता और पूर्व प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष धनेंद्र साहू के संयोजन में गठित 8 सदस्यीय जांच समिति ने मृतकों के परिजनों और स्थानीय निवासियों से मुलाकात की, घटना स्थल का मुआयना किया और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है। इसके साथ ही मृतकों के परिवारों के लिए 20 लाख रुपए मुआवजे और परिवार के एक सदस्य को स्थायी सरकारी नौकरी देने की भी मांग की है।

पीसीसी के पूर्व अध्यक्ष धनेंद्र साहू ने कहा कि भाजपा सरकार में आए दिन चाकूबाजी जैसी घटनाएं हो रही हैं, जिससे छत्तीसगढ़ की जनता भयभीत है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में युवाओं को आसानी से शराब और नशीली दवाएं मिल रही हैं, जबकि सरकार रोजगार देने के अपने वादे में नाकाम रही है। यही कारण है कि प्रदेश में हिंसा और अपराध का वातावरण बन गया है।

धनेंद्र साहू ने बताया कि पीड़ित परिवार को अभी तक सरकार की ओर से कोई आर्थिक मदद नहीं मिली है। कांग्रेस पार्टी ने मृतक परिवार को 20 लाख रुपए मुआवजा देने और परिवार के एक सदस्य को स्थायी सरकारी नौकरी देने की मांग की है। उन्होंने कहा कि इस घटना के संबंध में राज्यपाल को भी अवगत कराया जाएगा। वहीं, गृह मंत्री विजय शर्मा पर टिप्पणी करते हुए उन्होंने कहा कि जिले के प्रभारी मंत्री गृह मंत्री हैं, बावजूद इसके उन्होंने अभी तक पीड़ित परिवार से मिलने का समय नहीं निकाला।

इस मुलाकात के दौरान धनेंद्र साहू (पूर्व प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष) के साथ जांच समिति के सदस्य अरूण वोरा (पूर्व विधायक), दलेश्वर साहू (विधायक), भोलाराम साहू (विधायक), हर्षिता बघेल (महामंत्री, PCC), शाहिद खान (अध्यक्ष, राजनांदगांव शहर), कुलबीर छाबड़ा (अध्यक्ष, राजनांदगांव ग्रामीण) और भागवत साहू (संयोजक/सदस्य) मौजुद थे।
जानिए क्या है पूरा मामला
दोनों घटनाएं 7-8 सितंबर 2025 को राजनांदगांव के चिखली पुलिस चौकी अंतर्गत बजरंगपुर नवागांव (मोतीपुर क्षेत्र के निकट) में हुई। स्थानीय सूत्रों के अनुसार, यह हिंसा पारिवारिक विवाद और पुरानी रंजिश से उपजी थी।
पहली घटना
पहली घटना शनिवार 6-7 सितंबर की दरमियानी रात को हुई, जब 27 वर्षीय सचिन दास अपने घर के पास बैठे थे। तभी आरोपी गिरेंद्र साहू उर्फ राजू, पेमेंद्र साहू और दो नाबालिगों ने उन पर चाकू से कई वार किए। गंभीर रूप से घायल सचिन को रायपुर के अस्पताल में रेफर किया गया, जहां सोमवार देर रात उनकी मौत हो गई।
दूसरी और तीसरी घटना
इसके बाद अगले दिन यानी 7-8 सितंबर की दरमियानी रात दो और घटनाएं हुईं। पहली में राकेश ढीमर की चाकूबाजी में तुरंत मौत हो गई। दूसरी में किशन राजपूत घायल हुए, जिनकी भी रविवार रात इलाज के दौरान मौत हो गई। कुल मिलाकर 48 घंटे के भीतर तीन हत्याएं हुईं, जिससे इलाके में कानून-व्यवस्था की गंभीर स्थिति उजागर हुई।
पुलिस जांच में सामने आया कि ये हमले पुरानी दुश्मनी के कारण किए गए थे, जिसमें पक्षकारों के बीच लंबे समय से जमीन या पारिवारिक विवाद चल रहे थे। मृतकों में सचिन दास, राकेश ढीमर और किशन राजपूत शामिल थे, जो स्थानीय निवासी थे।
आक्रोशित ग्रामीणों ने किया था मुख्य सड़क पर चक्का जाम
मौतों की खबर फैलते ही नवागांव और मोतीपुर क्षेत्र के वार्डवासियों में गुस्सा भड़क उठा। सोमवार को सैकड़ों ग्रामीणों ने मुख्य सड़क पर चक्का जाम कर आरोपी की तत्काल गिरफ्तारी की मांग की। प्रदर्शनकारियों ने नारेबाजी की और प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाया। स्थिति इतनी तनावपूर्ण हो गई कि पुलिस को भारी बल तैनात करना पड़ा और क्षेत्र को छावनी में बदल दिया गया। ग्रामीणों का कहना था कि प्रशासन पहले से सतर्क नहीं था, जिससे निर्दोषों की जान चली गई।
प्रशासन ने प्रदर्शनकारियों को शांत करने के लिए तुरंत कार्रवाई की। हत्याकांड के मास्टरमाइंड पृथ्वी भट्ट को गिरफ्तार कर जेल भेजा गया। गिरफ्तारी के बाद पुलिस ने भीड़ को तितर-बितर करने के लिए समझाइश दी। हालांकि, आरोपी गिरेंद्र साहू उर्फ राजू अभी भी फरार है, जिसकी तलाश में पुलिस टीमें लगातार काम कर रही हैं। वहीं, आरोपियों के परिजनों को सुरक्षा के मद्देनजर अज्ञात स्थान पर शिफ्ट कर दिया गया और उनके घर को सील कर ताला लगाया गया। पुलिस ने कुल 9 आरोपियों को नामजद किया है, जिनमें से अधिकांश को गिरफ्तार कर जुलूस भी निकाला गया ताकि जनता में विश्वास कायम हो।
जब तक सभी आरोपी पकड़े न जाएं, चुप नहीं बैठेंगी कांग्रेस
गौरतलब है कि इस घटना ने न केवल राजनांदगांव के बजरंगपुर नवागांव और मोतीपुर क्षेत्र में भय और आक्रोश फैलाया, बल्कि राज्य में कानून-व्यवस्था की स्थिति पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। कांग्रेस का कहना है कि सरकार की लापरवाही के कारण पुराने विवाद हिंसक रूप ले रहे हैं और तुरंत ठोस कदम उठाने की आवश्यकता है। पार्टी ने स्पष्ट कहा है कि जब तक सभी आरोपी पकड़े न जाएं और न्याय न मिले, तब तक वे चुप नहीं बैठेंगी। साथ ही, फरार आरोपी की तत्काल गिरफ्तारी के लिए जिला प्रशासन को ज्ञापन सौंपा है। कांग्रेस ने यह भी चेतावनी दी कि यदि कार्रवाई नहीं की गई तो यह मामला विधानसभा में भी उठाया जाएगा और दोषी प्रशासनिक अधिकारियों के खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी।
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