टाटा ग्रुप की प्रमुख फाइनेंशियल सेवा कंपनी टाटा कैपिटल (Tata Capital) ने आज (6 अक्टूबर 2025) से अपना IPO सब्सक्रिप्शन शुरू कर दिया है. यह इस साल का सबसे बड़ा IPO माना जा रहा है, जो निवेशकों को 8 अक्टूबर तक खुलेगा. इसके जरिए कंपनी करीब 15,512 करोड़ रुपये जुटाना चाहती है, जिसमें से 21 करोड़ नए इक्विटी शेयर जारी किए जाएंगे.

क्या है इस IPO की खासियत?

टाटा कैपिटल (Tata Capital) ने शेयर की कीमत ₹310 से ₹326 के बीच तय की है. रिटेल निवेशकों को कम से कम ₹14,996 (46 शेयरों के एक लॉट) से निवेश करना होगा, जबकि अधिकतम 13 लॉट्स तक बोली लगाई जा सकती है. आईपीओ का 35% हिस्सा खुदरा निवेशकों के लिए रिजर्व है.

एंकर निवेशकों में भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) सबसे बड़ा निवेशक है, जिसने ₹700 करोड़ से अधिक का निवेश किया है. टाटा संस के पास टाटा कैपिटल (Tata Capital) में लगभग 93% हिस्सेदारी है.

टाटा कैपिटल की मजबूती और बाजार में हिस्सेदारी

टाटा कैपिटल (Tata Capital) भारत की तीसरी सबसे बड़ी नॉन-बैंकिंग फाइनेंशियल कंपनी (NBFC) है, जिसके 2025 के जून तक के आंकड़ों के अनुसार कुल लोन पोर्टफोलियो ₹2,33,400 करोड़ का है. कंपनी का मुख्य ध्यान रिटेल और SME ग्राहकों पर है, जो उसके कुल लोन का लगभग 87.5% हिस्सा हैं. कुल लोन का 80% सिक्योर्ड है और 99% से अधिक ऑर्गेनिक लोन है. इसके अलावा, कंपनी पर्सनल लोन, होम लोन, व्हीकल लोन, कॉमर्शियल लोन, क्रेडिट कार्ड और डिजिटल लोन भी प्रदान करती है.

IPO के पीछे की रणनीति

इस IPO के दो हिस्से हैं: करीब ₹6,846 करोड़ के फ्रेश शेयर जारी किए जाएंगे, जबकि ₹8,665 करोड़ के 26.58 करोड़ शेयर ऑफर-फॉर-सेल के तहत बेचे जाएंगे. टाटा कैपिटल (Tata Capital) को RBI की ओर से अपर लेयर NBFC का दर्जा प्राप्त है, जिसके चलते यह समय पर सार्वजनिक बाजार में अपनी हिस्सेदारी बढ़ा रही है.

निवेशकों के लिए क्या सावधानियां जरूरी हैं?

हालांकि इस साल टाटा कैपिटल का यह IPO सबसे बड़ा है, लेकिन निवेश से पहले ध्यान रखें कि शेयर बाजार में निवेश जोखिम के साथ आता है. निवेशकों को सलाह दी जाती है कि वे अच्छी तरह से कंपनी की वित्तीय स्थिति, बढ़ती प्रतिस्पर्धा और बाजार की स्थिति का विश्लेषण करें.

टाटा कैपिटल (Tata Capital) का यह IPO एक बड़ा अवसर है, खासकर उन निवेशकों के लिए जो लंबे समय तक स्थिर और सुरक्षित रिटर्न की तलाश में हैं. ₹14,996 की न्यूनतम निवेश राशि के साथ, यह एक किफायती विकल्प भी हो सकता है. निवेश से पहले सावधानी पूर्वक फैसले लेने की जरूरत है, क्योंकि बाजार की स्थिति कभी भी बदल सकती है.