कुमार इंदर, जबलपुर। छत्तीसगढ़ के रायपुर के खनन कारोबारी महेंद्र गोयनका के निसर्ग इस्पात प्राइवेट लिमिटेड के कैंपस में तेंदुए का शव मिला। इस घटना को लेकर कई सनसनीखेज खुलासे हो रहे हैं। जांच में सामने आया है कि तेंदुए का शिकार किया गया था। जिसके बाद उसके नाखून निकाल लिए गए थे। 

डॉग स्क्वॉड की मदद से हो रही छानबीन

निसर्ग इस्पात प्राइवेट लिमिटेड के कैंपस में व्यापक पैमाने पर जंगली जानवरों के शिकार करने के संकेत मिले हैं। 14 सितंबर को भी फैक्ट्री में दो जंगली सुअरों का शिकार हुआ था। जिसमें वहीं के कर्मचारियों का हाथ सामने आया था। जिस जगह शव बरामद हुआ है, उस पूरे इलाके को छान मारने के लिए डॉग स्क्वॉड की मदद ली जा रही है। साथ ही अन्य जानवरों के शिकार की आशंका भी जताई जा रही है, जिसकी पुष्टि करने के लिए खुदाई करवाई जा रही है। 

फैक्ट्री की आड़ में शिकार का खेल!

बता दें कि महेंद्र गोयंका ने मध्य प्रदेश सरकार से प्लांट लगाने की अनुमति लेकर जमीन ली। लेकिन औद्योगिक भूमि पर फार्म हाउस बना लिया। जहां शिकार के लिए तालाब और मकान बनवा दिए। पिछले 10 दिनों में महेंद्र गोयनका की निसर्ग इस्पात के नाम से जमीन लेकर बनाए गए फार्म हाउस में तीन बार फारेस्ट विभाग का छापा पड़ चुका है। इस दौरान महेंद्र गोयनका के मैनेजर सहित तीन लोग जेल भी गए थे। लेकिन मैनेजर तीन दिन पहले जमानत पर छूट कर आ गया और सबूत मिटाने के लिए जेसीबी से गड्ढा खुदवा कर जानवरों के अवशेष गाड़ने की कोशिश की।  

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