जमुई। बिहार विधानसभा चुनाव 2025 में इस बार इतिहास रचने जा रहा है जमुई का नक्सल प्रभावित चकाई विधानसभा क्षेत्र का गगनपुर गांव, जहां 73 साल बाद पहली बार मतदान होगा। बिहार-झारखंड सीमा से सटे इस इलाके में पहली बार बूथ बनाए जाने को लेकर गांव और आसपास के इलाकों में जबरदस्त उत्साह है।
1952 से अब तक नहीं पड़ा एक भी वोट
1952 में जब पहली बार बिहार विधानसभा का चुनाव हुआ था, तब से लेकर अब तक गगनपुर गांव के लोगों ने कभी वोट नहीं डाला। नक्सल गतिविधियों, सुरक्षा की कमी और सड़क जैसी बुनियादी सुविधाओं के अभाव में यहां चुनावी प्रक्रिया रुक गई थी। गांव के लोग अब तक पास के बिल्ली गादी गांव जाकर वोट डालते थे, जो लगभग चार किलोमीटर दूर है। नक्सलियों के डर और वोट बहिष्कार की धमकियों की वजह से तब मतदान प्रतिशत मात्र 20% तक सीमित रह जाता था।
गांव में दिखा उत्साह
स्थानीय निवासी पप्पू यादव ने बताया कि वह 2009 से लगातार मतदान करते आ रहे हैं, लेकिन अपने ही गांव में वोट डालने का मौका पहली बार मिल रहा है। उन्होंने कहा, “पहले सड़क नहीं थी, न ही सुरक्षा का भरोसा। अब गांव में माहौल बदल गया है। इस बार गगनपुर का हर वोटर बूथ तक पहुंचेगा।
दी सुरक्षा और जागरूकता की गारंटी
जमुई के एसपी विश्वजीत दयाल ने हाल ही में उत्क्रमित मध्य विद्यालय गगनपुर का निरीक्षण किया, जहां मतदान केंद्र बनाया गया है। उन्होंने प्रधानाध्यापक, ग्रामीणों और बच्चों से बातचीत की और उन्हें मतदान के महत्व के प्रति जागरूक किया। एसपी ने कहा, पहली बार इस इलाके में मतदान केंद्र बनाए जा रहे हैं। पूरी सुरक्षा व्यवस्था रहेगी ताकि लोग भयमुक्त होकर वोट डाल सकें।
80% से अधिक मतदान का लक्ष्य
स्थानीय लोगों ने प्रशासन को भरोसा दिलाया है कि इस बार गगनपुर में 80% से अधिक मतदान होगा। गांवों में लगातार जागरूकता अभियान चलाया जा रहा है ताकि हर मतदाता लोकतंत्र के इस पर्व में भाग ले सके।
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