शिखिल ब्यौहार, भोपाल। राजधानी में होने वाले विश्व स्तरीय मुस्लिमों के आलमी तब्लीगी इज्तिमा में हिंदुओं को दुकान न देने का मामला सामने आया है। बताया जा रहा है कि मुस्लिम संगठन ने हिंदुओं को दुकान देने से इनकार कर दिया है। हिंदू संगठनों ने मामले में तीखी प्रतिक्रिया दी है। हिंदू उत्सव समिति के अध्यक्ष चंद्रशेखर तिवारी ने कहा कि शुरुआत में यह कहते हैं। जब हम प्रतिक्रिया देते हैं तो मिर्ची लगती है। तब भाईचारा और सद्भाव की बात निकलती है। अब कहां गया सद्भाव?

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चंद्रशेखर तिवारी ने कहा, पिछली बार भी सूचना आई थी। इस बार भी सूचना आई है कि जो इज्तिमा लगने वाला है, उसमें हिंदुओं को दुकान नहीं दी जा रही है। यही बात हम करते हैं, ‘अपनों से व्यवहार अपनों से त्योहार अपनों से व्यापार’ तब आपको बुरा लगता है। आप उसका विरोध करते हैं। जैसे आप आएंगे वैसे ही पाएंगे। बोया पेड़ बबूल का तो आम कहां से आए। यह जिम्मेदारी आप की है। मुस्लिम नेता सांप्रदायिक सौहार्द की बात करते हो। भाईचारे के स्वाद की बात करते हो। आपको तो बढ़-चढ़कर हिंदुओं को दुकानें देनी चाहिए।

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उन्होंने आगे कहा, सकल संपदा रघुनाथ की। सब कुछ भगवान का बनाया हुआ है। धर्म सिर्फ सनातन है, बाकी सब पंथ है। यह धर्म को नीचे दिखाने का प्रयास हो रहा है। आपको चिंता करनी चाहिए। यदि आप कहते हैं कि भेदभाव की बात करते हैं तो यह आपके कारण ही होता है ,शुरू अपने ही किया था, अब तो हमारा ही हमारा होगा।

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उन्होंने कहा कि हिंदू समाज के लोगों से निवेदन है यदि अपमान मिल रहा है तो उस जगह पर नहीं जाना चाहिए। प्रभु ने जीव दिया है तो रोटी भी देगा। कुछ चिंता उसने भी की है। देश में बहुसंख्यक है हिंदू और हमारे मठ मंदिर त्यौहार कल्पवास अल्पवास धार्मिक आयोजन किसी भी चीज की कमी नहीं है। 

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व्यापार मेला लग रहे हैं, कुंभ मेले लग रहे हैं, नर्मदा जी पर कार्तिक माह में पूरे देश भर में नीली चल रहे हैं। अल्प वास लग रहा है। कल्पवास लग रहा है। प्रयाग में किनारे चले जाइए, नर्मदा किनारे मंदिर में चले जाइए। सकल संपदा रघुनाथ की सरकार की भी नहीं है। हम जहां चाहेंगे वहां दुकान लगा भी सकते हैं। 

कांग्रेस बोली- बीज तो बीजेपी ने ही बोया था

इस मामले में कांग्रेस ने भाजपा पर निशाना साधा है। कांग्रेस प्रदेश प्रवक्ता डॉ विक्रम चौधरी ने कहा, यह बीज तो बीजेपी ने ही बोया था। यह सब बीजेपी, RSS का षड्यंत्र है। संघी और मुसंघी एक थाली के चट्टे बट्टे हैं। धर्म के नाम पर शासन करने का मुद्दाविहीन बीजेपी का एजेंडा है। उन्होंने कहा, सही गलत की बात दूसरी है लेकिन यह देखने वाली बात है कि बीज किसने बोया था। देश को धर्म को टुकड़ों में बांटने का काम आरएसएस बीजेपी और योगी आदित्यनाथ ने किया था।

उन्होंने आगे कहा, दीपावली पर भी हिंदू संगठनों ने कहा था कि ‘अपना त्योहार अपनों के साथ’। पहली बात और आखिरी बात..देश संविधान से चलता है चाहे वह इज्तिमा हो चाहे कुंभ हो। बीजेपी हिंदू मुस्लिम को एक नहीं होने देना चाहती। ऐसे आयोजन में व्यापार की स्वतंत्रता नहीं मिलनी चाहिए। सरकार को तत्काल हस्तक्षेप करना चाहिए। चाहे वह हिंदुओं का त्यौहार हो चाहे अल्पसंख्यकों का, बीजेपी भेदभाव की सरकार है। यह सिर्फ तुष्टिकरण की राजनीति करते हैं। यह नूराकुश्ती है, खेल का मैदान बीजेपी ने तैयार किया है एक संघी दूसरा मुसंघी। यह सब एक थाली के चट्टे बट्टे हैं। यह मुद्दों से ध्यान हटाने की एक घटिया कोशिश कहीं जा रही है।

मुस्लिम संगठन ने कहा- दुकानों से बाहर करने किसने कहा था?

इस मामले में मुस्लिम स्कॉलर जमशेद आलम ने बयान दिया है। उन्होंने कहा, ‘किसने कहा था दुकानों से मुसलमानों को बाहर करो..मुसलमानों से मेंहदी न लगाओ। यह भी देखना चाहिए। नफरत का खेल चल रहा है। मुसलमानों पर आरोप बिल्कुल गलत बात है। पूरी तरह गलत बात है। हिंदू, मुसलमान को साथ लेकर चलने वाले हैं।’

उन्होंने आगे कहा, ‘कुंभ में श्रद्धालुओं को तकलीफ हुई तो दरगाह और मस्जिद खोल दी गई थे, भूल गए क्या? ताकि श्रद्धालु भूख से परेशान ना हो।मुसलमानों ने इस प्रकार का उदाहरण दिया था। नफरती चिंटुओ तो नफरत ही चाहते हैं। नफरत नहीं चलेगी मोहब्बत चलेगी। हम कभी हिंदुओं को टारगेट नहीं करते। लेकिन…ये कौन कहता है कि मुसलमान कर्मचारियों को मत रखो.. मेहंदी मत लगाओ..इनसे त्योहार व्यवहार मत करो, बारकोड देखो, यदि मुसलमान का हो तो सामान वापस करो। फिर भी हम गले मिलकर रहते हैं। किसने क्या किया सब जानते हैं।’

बीजेपी ने दिया बयान

मामले पर बीजेपी प्रदेश प्रवक्ता शिवम शुक्ला ने कहा कि देश के बहुसंख्यक हिंदू हैं, ऐसे करने से पहले सोचना चाहिए। सनातन को टारगेट करने की कोशिश की जा रही है। कांग्रेस तुष्टिकरण के लिए तुच्छ राजनीति कर रही है। उन्होंने कहा कि धार्मिक आयोजन में ज्यादातर निर्णय आयोजनकर्ता करते हैं। जबकि यह काम नियम कानून कांग्रेस के अनुरूप ही होना चाहिए। जब हिंदू तिथि एवं पर्व में निर्णय दिए जाते हैं तो कांग्रेस को बड़ा दर्द, बड़ी आपत्ति होती है। कांग्रेस इसे तुष्टिकरण की राजनीति करने के लिए अत्याचार बताती है। लेकिन जब अल्पसंख्यक वर्ग ऐसा करता है तो कांग्रेस चुप्पी साध लेती है। सर्कुलर देश में हिंदुओं पर ही सब लागू होता है। यह कांग्रेस मजहबी सियासत के एजेंडे को स्थापित कर रही है। 

उन्होंने आगे कहा, सबसे महत्वपूर्ण यह एक सेक्युलर देश है। बहुसंख्यक देश में हिंदू है, साथ में लेकर चलना चाहिए। अन्य धर्म के अनुयायी है जो उनके ध्वजवाहक हैं लेकिन वह हिंदुओं को टारगेट करते हैं। आर्थिक सामाजिक घेराबंदी की कोशिश करते हैं। नियमों की अवहेलना करते हैं। इस पर सरकार जांच करेगी, लेकिन ऐसा नहीं करना चाहिए। कांग्रेस इसका जवाब देना चाहिए और उन लोगों से जुड़े हुए संगठनों को भी जवाब देना चाहिए कि आखिर फिर विरोध क्यों?

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