Panchak 2025: इन 10 कामों पर नहीं पड़ता पंचक का प्रभाव

चंद्रमा जब कुंभ और मीन राशियों से होकर गुजरता है तब पंचक लगता है.

यह अवधि 5 नक्षत्रों धनिष्ठा, शतभिषा, पूर्वाभाद्रपद, उत्तराभाद्रपद और रेवती में आती है, जिसे पंचक कहते हैं.

पंचक में वाहन-जमीन की खरीदारी, भूमि पूजन, मांगलिक कार्य, निवेश आदि जैसे कार्यों को टाल दिया जाता है.

लेकिन कुछ ऐसे काम हैं जिन्हें आप बिना झिझक पंचक के दौरान भी कर सकते हैं. आइए जानते हैं

1. पंचक के दौरान आप घर या मंदिर में दैनिक पूजा-पाठ कर सकते हैं. इसमें आप देवी-देवताओं की आरती, मंत्र जाप और नियमित पूजा-पाठ सामान्य रूप से कर सकते हैं, इसमें कोई दोष नहीं है.

पूजा-पाठ

अगर पंचक की शुरुआत सोमवार के दिन हुई तो इसमें भी सभी कार्य कर सकते हैं. क्योंकि इसे शुभ माना जाता है.

राज पंचक

1. बुधवार के दिन शुरू होने वाला पंचक भी दोषरहित माना जाता है. इसलिए इस पंचक के दौरान भी शुभ कार्य किए जा सकते हैं.

बुधवार का दिन खास 

1. वहीं गुरुवार के दिन से शुरू होने वाले पंचक को गुरु पंचक कहा जाता है. यह पंचक भी शुभ होता है और इसमें भी सारे कार्य किए जा सकते हैं.

गुरु पंचक

पंचक के दौरान आप घर पर धार्मिक अनुष्ठान जैसे सत्यनारायण कथा, शिव चर्चा, हवन आदि जैसे अनुष्ठान करा सकते हैं.

1. पंचक काल में आप नियमित रूप से तुलसी पूजन भी कर सकते हैं.

1. पंचक के दौरान पवित्र नदी में स्नान करना या घर पर नियमित स्नान के बाद सूर्य देव को जल से अर्घ्य देना भी शुभ माना जाता है.

1. पंचक के दौरान कोई व्रत या उत्सव जैसे एकादशी, पूर्णिमा, प्रदोष व्रत, शिवरात्रि आदि पड़ जाए तो इन्हें भी आप कर सकते हैं. पंचक का प्रभाव व्रत-त्योहारों पर नहीं पड़ता है.