Amavasya Chand Darshan 2025: हिंदू पंचांग के अनुसार अमावस्या के अगले दिन होने वाला चंद्र दर्शन अत्यंत शुभ माना जाता है. मान्यता है कि इस दिन दिखने वाला यह पहला चांदकेवल मन की शांति ही नहीं देता, बल्कि घर-परिवार में सौभाग्य, समृद्धि और मानसिक संतुलन भी लाता है. ज्योतिष के अनुसार चंद्रमा जब अमावस्या के बाद प्रतिपदा में प्रवेश करता है, तब उसकी उजास नई शुरुआत, सकारात्मक ऊर्जा और इच्छापूर्ति का संकेत देती है.
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चंद्रमा के प्रथम दर्शन से मन की चंचलता दूर होती (Amavasya Chand Darshan 2025)
आज शाम सूर्यास्त के बाद लगभग एक घंटे के भीतर चाँद दिखाई देगा और इसी अवधि को चंद्र दर्शन का शुभ समय माना जाएगा. इस दौरान भक्तों को पश्चिम दिशा की ओर आकाश में उभरते चंद्रमा को देखने की सलाह दी जाती है. धार्मिक ग्रंथों में लिखा है कि चंद्रमा के प्रथम दर्शन से मन की चंचलता दूर होती है और जीवन में सौम्यता बढ़ती है.
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पूजा-विधि भी अत्यंत सरल है
सूर्यास्त के तुरंत बाद घर की पूर्व या उत्तर-पूर्व दिशा में दीपक जलाएं. इसके बाद चाँद को देखकर दोनों हाथ जोड़कर प्रणाम करें और मन में शुभ संकल्प लें. ‘ॐ चं चंद्राय नमः’ मंत्र का जाप करने से मानसिक स्थिरता और पारिवारिक सुख बढ़ने का आशीर्वाद मिलता है. साथ ही सफेद चावल, दूध, दही, मिश्री या सफेद मिठाई का दान बहुत शुभ माना गया है.
चंद्र दर्शन से इन चीजों में भी मिलता है फायदा (Amavasya Chand Darshan 2025)
मान्यता यह भी है कि चंद्र दर्शन से दांपत्य जीवन में मधुरता बढ़ती है, आर्थिक स्थिति में सुधार आता है और व्यक्ति के भीतर तनाव, क्रोध तथा अस्थिरता कम होती है. इसी वजह से यह दिन केवल धार्मिक दृष्टि से ही नहीं, बल्कि मानसिक और आध्यात्मिक संतुलन के लिए भी बेहद महत्वपूर्ण बन जाता है.
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