India First Private Orbital Skyroot Vikram-I Rocket: भारत के पहले प्राइवेट ऑर्बिटल रॉकेट विक्रम-I को दुनिया के सामने प्रस्तुत कर दिया गया है। पीएम नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) ने गुरुवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए भारत के पहले प्राइवेट ऑर्बिटल रॉकेट को पेश किया। रॉकेट को प्राइवेट स्पेस कंपनी स्काईरूट एयरोस्पेस ने बनाया है। रॉकेट की ऊंचाई 7 मंजिल बिल्डिंग के बराबर है। इस रॉकेट को 2026 में लॉन्च किया जाएगा। यह अपने साथ 300 किग्रा सैटेलाइट ले जाने में सक्षम है।
पीएम ने इस दौरान रॉकेट के अलावा कंपनी के नए इनफिनिटी कैंपस का भी इनॉगरेशन किया। इस कैंपस में कई लॉन्च व्हीकल के डिजाइन, डेवलपमेंट, इंटीग्रेशन और टेस्टिंग का काम किया जाएगा। कैंपस तेलंगाना के हैदराबाद में बना है। कंपनी का हेड ऑफिस भी यहीं है।
अपने संबोधन में प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि आज भारत स्पेस इकोसिस्टम के प्राइवेट सेक्टर में बड़ी उड़ान भर रहा है। स्काईरूट का इनफिनिटि कैंपस भारत की नई सोच, इनोवेशन का प्रतिबिंब है। हमारी युवा शक्ति की इनोवेशन, रिस्क टेकिंग एबिलिटी आज नई बुलंदी छू रही है। इसरों ने दशकों तक भारत की स्पेस यात्रा को उड़ान दी है। बदलते हुए समय में स्पेस सेक्टर का विस्तार हो रहा है। इसलिए ही हमने भारत के स्पेस सेक्टर में ऐतिहासिक रिफॉर्म किए। सरकार ने स्पेस सेक्टर को प्राइवेट इनोवेशन के लिए ओपन किया। नई स्पेस पॉलिसी तैयार की। हमने स्टार्टअप को इनोवेशन के साथ जोड़ने का प्रयास किया।
पीएम ने स्काईरूट के फाउंडर के बारे में कहा कि आप दोनों ने खुद पर भरोसा किया, आप रिस्क उठाने में पीछे नहीं रहे। इसका परिणाम आज पूरा देश देख रहा है। देश आप पर गर्व कर रहा है। भारत की अंतरिक्ष यात्रा बहुत सीमित संसाधनों से शुरु हुई। आज नए आयाम पर पहुंच गई। आज के कार्यक्रम में इसी की झलक दिख रही है। भारत का युवा देश हित को सर्वोपरि रखकर चलता है। वह हर अवसर का सही इस्तेमाल करता है। सरकार ने स्पेस सेक्टर को ओपन किया तो हमारे जेन जी यूथ फायदा उठाने के लिए आगे आ रहे हैं। भारत में 300 से अधिक स्पेस स्टार्टअप चल रहे हैं। इसमें खास यह है कि हमारे अधिकतर स्टार्टअप की शुरुआत बहुत छोटे से हुई है। मैं इन सभी से लगातार मिला हूं। कभी दो लोग, कभी पांच साथी कभी एक किराए का कमरा, टीम छोटी लेकिन इरादे बुलंदी छूने के हैं।
IIT पासआउट पवन चंदना और भरत ने 2016 में की थी कंपनी की स्थापना
स्काईरूट एयरोस्पेस कंपनी (Skyroot Aerospace Company) की स्थापना पवन चंदना और भरत ढाका ने 2018 में की थी। यह दोनों IIT पासआउट हैं और ISRO के पूर्व साइंटिस्ट रह चुके हैं। इन्हें भारत का ‘इलॉन मस्क’ कहा जा रहा है। दरअसल मस्क भी स्पेस सेक्टर में काम कर रहे हैं। उनकी स्पेस एक्स कंपनी कई प्राइवेट रॉकेट लॉन्च कर चुकी है। स्काईरूट कंपनी ने इससे पहले 2022 में विक्रम-S रॉकेट लॉन्च किया था, जो सब ऑर्बिट रॉकेट था यानी कि यह 100 किमी ऊपर गया था लेकिन पृथ्वी की कक्षा में प्रवेश नहीं कर पाया था। विक्रम-I एक ऑर्बिटल रॉकेट है जो पृथ्वी की कक्षा के अंदर जाएगा।
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