दिल्ली में बढ़ते वायु प्रदूषण को कम करने के लिए सरकार एक नया और बड़ा कदम उठा रही है। मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता(Rekha Gupta) के नेतृत्व में दिल्ली सरकार दिसंबर के आखिरी सप्ताह में IIT दिल्ली में पहला ‘क्लीन-एयर इनोवेशन शोकेस’ इवेंट आयोजित करेगी। इस कार्यक्रम का उद्देश्य ऐसी नई तकनीकें चुनना है, जो दिल्ली की हवा को जल्दी और प्रभावी तरीके से साफ कर सकें।

पर्यावरण मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने बताया कि देशभर से प्राप्त लगभग 300 प्रविष्टियों की शुरुआती जांच पूरी हो चुकी है। अब सबसे बेहतरीन टीमों को विशेषज्ञों की ITEC कमेटी के सामने बैच के रूप में बुलाया जाएगा, जहाँ वे अपने मॉडल और मशीनों का प्रदर्शन करेंगे।

इनोवेटर्स अपने मॉडल और तकनीकें दो प्रमुख श्रेणियों में पेश करेंगे:

वाहनों से निकलने वाले PM2.5 और PM10 (विशेषकर BS-IV और पुराने वाहन) को कम करने वाले उपकरण।

हवा में पहले से मौजूद PM2.5 और PM10 को साफ़ या कैप्चर करने वाली तकनीकें।

हर टीम को अपने प्रोटोटाइप, डिवाइस या मशीन का प्रदर्शन करना होगा, ताकि यह साबित किया जा सके कि उनका समाधान वास्तविक परिस्थितियों में किस तरह काम करेगा।

IIT दिल्ली में होगा सार्वजनिक कार्यक्रम

इस क्लीन-एयर इनोवेशन शोकेस को पूरी तरह ओपन प्रेजेंटेशन फॉर्मेट में रखा गया है। इसका मतलब है कि आम लोग, छात्र, शोधकर्ता और सरकारी अधिकारी सभी लाइव देख सकेंगे कि दिल्ली की हवा साफ करने के लिए कौन-सी तकनीक कितनी प्रभावी है। कार्यक्रम कई दिनों तक चलेगा और कुल 3-4 राउंड में इनोवेटर्स अपने मॉडल और समाधानों का प्रदर्शन करेंगे।

पर्यावरण मंत्री ने क्या कहा?

पर्यावरण मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने कहा, “हम चाहते हैं कि दिल्ली के लोग खुद देखें कि सरकार किस तकनीक को क्यों चुन रही है।” यह पहल पारदर्शिता की दिशा में एक बड़ा कदम है। विशेषज्ञों की ITEC कमेटी तकनीकों का मूल्यांकन निम्नलिखित आधारों पर करेगी:

दिल्ली की परिस्थितियों में उपयोगिता

लागत और रखरखाव

कानूनी मानकों का पालन

बड़े स्तर पर लागू किए जाने की क्षमता

योग्य तकनीकों का होगा फील्ड ट्रायल

योग्य तकनीकों को फील्ड ट्रायल और लैब टेस्टिंग के लिए भेजा जाएगा, और इसकी लागत DPCC वहन करेगा। जिन मॉडलों के पास पहले से मजबूत टेस्ट रिपोर्ट मौजूद होंगी, उन्हें सीधे अंतिम समीक्षा में भेजा जा सकता है।

सरकार विजेताओं को दो चरणों में प्रोत्साहन देगी:

5 लाख रुपये – फील्ड ट्रायल सफल होने के बाद

50 लाख रुपये – बड़े पैमाने पर लागू होने की मंज़ूरी मिलने पर

इनोवेशन चैलेंज साफ हवा रणनीति का हिस्सा

सरकार के अनुसार, यह इनोवेशन चैलेंज दिल्ली की लंबी अवधि की साफ़-हवा रणनीति का हिस्सा है। राजधानी में हर साल सर्दियों में हवा बेहद खराब हो जाती है, जिसका कारण पराली, धूल, वाहनों का धुआं और मौसम हैं। इसी पृष्ठभूमि में सरकार नई तकनीकों की मदद से ऐसा सिस्टम तैयार करना चाहती है, जो पूरे साल हवा को साफ़ रखने में सहायक हो।

पर्यावरण मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने कहा, “मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता के नेतृत्व में दिल्ली वैज्ञानिक तरीकों और जनता की भागीदारी के साथ पूरे साल प्रदूषण से लड़ने की तैयारी कर रही है।” उन्होंने देशभर के छात्रों, स्टार्ट-अप्स और नागरिकों से अपील की कि वे IIT दिल्ली पहुँचकर इस शोकेस में भाग लें और दिल्ली की साफ हवा की मुहिम को मजबूत बनाएं।

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