Indigo Airlines: देश की सबसे बड़ी एयरलाइन कंपनी इंडिगो के सितारे इन दिनों गर्दिश में चल रहे हैं। पिछले दिनों क्रू की कमी के कारण इंडिगो की हजारों फ्लाइट्स कैंसिल हुईं थी। इसके कारण सरकार ने कार्रवाई करते हुए फ्लाइट शेड्यूल में 10% की कटौती की थी। अब इंडिगो को एक और जोर का झटका देते हुए ₹458 करोड़ से ज्यादा का GST जुर्माना लगाया है। दिल्ली साउथ कमिश्नरेट के CGST के अतिरिक्त आयुक्त ने ₹458 करोड़ से ज्यादा का जुर्माना लगाया है। यह जुर्माना केंद्रीय वस्तु एवं सेवा कर (CGST) अधिनियम, 2017 की धारा 74 के तहत वित्त वर्ष 2018-19 से 2022-23 की असेसमेंट से जुड़ा है।
इधर कंपनी ने आदेश को चुनैती देने की बात कही है। एयरलाइन के मुताबिक, कुल GST मांग ₹458,26,16,980 है। कंपनी ने बताया कि GST विभाग ने विदेशी सप्लायर से मिली क्षतिपूर्ति (कंपनसेशन) पर टैक्स मांग, ब्याज और जुर्माना लगाया है, साथ ही इनपुट टैक्स क्रेडिट को भी खारिज किया गया है।

कंपनी ने बाहरी टैक्स सलाहकारों की राय के आधार पर इस जुर्माने को गलत बताया। इंडिगो का कहना है कि यह आदेश कानून के खिलाफ है और वह इसे कोर्ट में चुनौती देगी। कंपनी के मुताबिक, इस आदेश का उसके वित्तीय नतीजों, संचालन या अन्य गतिविधियों पर कोई बड़ा असर नहीं पड़ेगा।
क्रू की कमी के कारण इंडिगो की हजारों फ्लाइट्स कैंसिल हुईं
बता दें कि इसी साल नवंबर और दिसंबर की शुरुआत में इंडिगो को बड़े स्तर पर ऑपरेशन्स से जुड़ी दिक्कतों का सामना करना पड़ा था। दरअसल, नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (DGCA) ने पायलटों के आराम के लिए नए ‘फ्लाइट ड्यूटी टाइम लिमिट’ (FDTL) नियम लागू किए थे। एयरलाइन इन नियमों के मुताबिक अपने क्रू और रोस्टर को सही समय पर मैनेज नहीं कर पाई। इसका नतीजा यह हुआ कि नवंबर के आखिर और दिसंबर के पहले हफ्ते में इंडिगो की करीब 5,000 फ्लाइट्स कैंसिल हुईं या देरी से उड़ीं।
DGCA की कार्रवाई: विंटर शेड्यूल में 10% की कटौती
हजारों यात्रियों के फंसने और भारी हंगामे के बाद DGCA ने इंडिगो के खिलाफ सख्त रुख अपनाया था। रेगुलेटर ने इंडिगो को अपने विंटर शेड्यूल में 10% की कटौती करने का निर्देश दिया, ताकि ऑपरेशन्स को फिर से पटरी पर लाया जा सके। इसके अलावा, एक जांच कमेटी ने भी अपनी गोपनीय रिपोर्ट मंत्रालय को सौंप दी है, जिसमें इंडिगो की प्लानिंग में कमियों और मैनेजमेंट की लापरवाही का जिक्र होने की संभावना है।
इसकी साल मार्च में भी लगा था जुर्माना
यह पहली बार नहीं है जब इंडिगो पर GST से जुड़ा टैक्स विवाद सामने आया है। इससे पहले 30 मार्च को इनकम टैक्स ने कंपनी को ₹944.20 करोड़ का पेनाल्टी ऑर्डर भेजा था। कंपनी ने बताया कि 2021-22 असेसमेंट ईयर के लिए इनकम टैक्स एक्ट 270A के तहत ये पेनाल्टी लगाई गई थी।एयरलाइन ने इस आदेश को ‘गलत और निराधार’ बताया। इंडिगो के मुताबिक, यह पेनल्टी इनकम टैक्स डिपार्टमेंट की असेसमेंट यूनिट ने लगाई थी। वहीं, अतिरिक्त ₹2.84 करोड़ का जुर्माना चेन्नई के संयुक्त आयुक्त ने लगाया था। यह विवाद 2018 से 2020 तक के फाइनेंशियल रिकॉर्ड में विसंगतियों के चलते इनपुट टैक्स क्रेडिट (ITC) नामंजूर किए जाने से जुड़ा है।
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