प्रदीप गुप्ता,कवर्धा/ रोहित कश्यप,मुंगेली। एक तरफ सरकार धान खरीदने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ने की बात कह रही है. लेकिन दूसरी ओर आक्रोशित किसान नियमों में बदलाव किए जाने को लेकर लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं. ताजा मामला कवर्धा और मुंगेली से सामने आया है. जहां धान खरीदी के विरोध में जिले भर के किसान प्रदर्शन कर ज्ञापन सौंप रहे और नेशनल हाइवे रायपुर-जबलपुर मार्ग पर चक्काजाम कर नारेबाजी की जा रही हैं.
किसानों ने किया चक्काजाम
कवर्धा में किसानों के इस चक्काजाम और प्रदर्शन की वजह से सड़क पर आवागमन बाधित हो गया है. एक स्थान से दूसरे स्थान पर जाने वाले लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. दोनों ओर गाड़ियों की लंबी कतार लगी हुई है. किसानों का आरोप है कि सरकार बार-बार नियमों में बदलाव कर रही है. किसान धान खरीदी पर लिमिट हटाने समेत 6 मांगों को लेकर विरोध जता रहे हैं. किसानों कहना है कि जब तक ठोस आश्वासन नहीं मिलेगा सड़क पर ही बैठे रहेंगे.
प्रति एकड़ 15 क्विंटल धान खरीदी, टोकन लेने में परेशानी, लिमिट हटाने और 15 फरवरी तक धान खरीदी को और आगे बढ़ाए जाने की मांग किसान कर रहे हैं. रायपुर-राजनांदगांव-बिलासपुर रोड पर किसानों ने चक्काजाम किया है. इस दौरान घटना स्थल पर एसडीएम विपुल गुप्ता और एसपी डॉ लाल उमेद सिंह समेत भारी संख्या में पुलिस बल तैनात है. जिससे भीड़ कोई उपद्रव न करे.
इस मामले में एसडीएम विपुल गुप्ता ने बताया कि किसान सड़क पर एकत्रित हुए हैं. सभी किसानों की समस्या एक जैसी ही है.
लगभग सभी समस्याओं का निराकरण किया जा चुका है. किसानों को समझाइस दी जा रही है. जल्दी आंदोलन समाप्त हो जाएगा. वहीं डीएसपी बीआर मरावी ने बताया कि किसान संघ द्वारा अपनी मांगों को लेकर के प्रदर्शन किया जा रहा है. जिसको देखते हुए यहां पर्याप्त बल लगाया गया है. आंदोलन पूर्ण रूप से शांतिपूर्ण है.
जिला प्रशासन को सौंपा ज्ञापन
मुंगेली में भारतीय किसान संघ के जिला इकाई ने धान बेचने में किसानों को हो रही परेशानी को देखते हुए जिला प्रशासन को ज्ञापन सौंपकर तीन दिवस के भीतर समस्याओं का निराकरण करने का अल्टीमेटम दिया है. जिला भारतीय किसान संघ ने धान खरीदी में आ रही दिक्कतों का निराकरण नहीं करने व किसानों की मांगे पूरा नहीं करने पर 14 दिसंबर को शहर के बीच चौक में मेनरोड पर उग्र प्रदर्शन का ऐलान कर दिया गया है.
इधर रोज धान खरीदी केंद्रों में मचे बवाल को लेकर प्रशासन एवं पुलिस भी अलर्ट है. जहां भी इस तरह के मामले सामने आ रहे हैं. प्रशासनिक अधिकारी एवं पुलिस के अफसर मौके पर पहुंचकर किसानों को किसी तरह समझाइश दे रहे है. लेकिन किसान अपनी मांगों को लेकर अडिग है, तो वही प्रशासन की ओर से अभी तक धान खरीदी के नियमों में बदलाव के दिशा में कोई ठोस व स्पष्ठ निर्णय नहीं लिया गया है.