बिल्हा। प्रदेश में बड़ी संख्या में प्रवासी वापस लौट रहे हैं। जिन्हें स्कूलों में ठहराया जा रहा है ऐसे में व्यवस्थाओं को लेकर गलत जानकारी देने वाले खण्ड स्रोत समन्वयक देवी चंद्राकर को एसडीएमऔर इंसीडेंट कमांडर बिल्हा ने कारण बताओ नोटिस जारी किया है। नोटिस के साथ उनसे जवाब मांगा है कि क्यों ने उनके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्यवाही के साथ-साथ दण्डात्मक कार्यवाही न किया जाए।

नोटिस में कहा गया है कि  विकासखण्ड बिल्हा के तहसील बिल्हा अंतर्गत ग्रामों से लगभग 10,000 लोग पलायन में है, उसके बावजूद देवी चंद्राकर ने अन्य विकास खण्डों के प्रवासी श्रमिकों के लिए शासकीय स्कूल उपलब्ध है की जानकारी जिला शिक्षा अधिकारी को भेजी गई है. इसे अनुशासन हीनता मानते हुए कहा गया है कि इस संबंध में उन्होंने न तो एसडीएम न ही क्वारंटाइन प्रभारी जनपद पंचायत सीईओ, बीईओ बिल्हा को कोई जानकारी दी गई है। उन्हें न तो आने वाले प्रवासियों की संख्या की जानकारी है और न ही प्रस्तावित क्वारंटाइन सेंटरों की जानकारी है।

आगे कहा गया है कि उनके द्वारा भेजी गई गलत जानकारी की वजह से कानून और व्यवस्था की स्थिति निर्मित हो सकती है। बिल्हा तहसील के अंतर्गत प्रत्येक क्वारंटाइन भवन में प्रवासी श्रमिक ठहरे हुए हैं जिन्हें किसी तरह से एडजस्ट किया गया है। यह कृत्य  क्षम्य नहीं है। अतः क्यों न अनुशासनात्मक कार्यवाही के साथ साथ, इंसीडेंट कमाण्डर बिल्हा को जानकारी दिए बिना जिला स्तरीय कार्यालय को गलत जानकारी देने के विरूद्व आपदा प्रबंधन अधिनियम एवं महामारी एक्ट के तहत दण्डात्मक कार्यवाही किया जावे। देवी चंद्राकर को बिल्हा जनपद पंचायत सीईओ के सामने उपस्थित होकर लिखित जवाब देने कहा गया है. जवाब संतोषजनक नहीं होने पर उनके खिलाफ अनुशासनात्कम/ दण्डात्मक कार्यवाही की जाएगी।

आर्थिक अनियमितता के भी रहे हैं आरोपी

आपको बता दें देवी चंद्राकर एक संविदा कर्मचारी है, जो विगत 20 वर्षो से विकास खंड स्रोत समन्वयक के पद पर कार्यरत है। बताया जा रहा है कि उनके ऊपर कई बार कार्य मे लापरवाही और आर्थिक अनियमितता का आरोप लगता रहा है। पूर्व में आर्थिक अनियमितता के कारण तत्कालीन कलेक्टर ठाकुर राम सिंह द्वारा पद से पृथक भी किया गया था। लेकिन अपने रसूख की वजह से ये फिर से इस पद पर काबिज होने में कामयाब रहे।