रायपुर। भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष व पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने कहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में केंद्र सरकार के दूसरे कार्यकाल के हाल ही पूरे हुए एक वर्ष को वर्षों से संजोए गए सपनों के पूरा होने और बड़े फैसलों से देश की दशा-दिशा तय करने वाला बताया. डॉ. रमन ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में केंद्र सरकार ने अपने पहले कार्यकाल में अपने कार्यों व फैसलों की जो बुनियाद रखी थी, दूसरे कार्यकाल में उस बुनियाद पर एक भव्य भारत के निर्माण, एक समृद्ध, शक्तिशाली और स्वाभिमानी भारत की इमारत के निर्माण का काम हुआ है. रमन सिंह ये तमाम बातें कुशाभाऊ ठाकरे स्मृति परिसर भाजपा कार्यालय में आयोजित जिला जनसंवाद कार्यक्रम में कही.
महासमुंद ज़िला की वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग सभा को संबोधित करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी के दूसरे कार्यकाल का पहला वर्ष देश की वर्षों की संजोई हुई आशा व आकांक्षाओं की पूर्ति का रहा है। केंद्र सरकार ने कोरोना संक्रमण काल में चौपट हो रही अर्थ व्यवस्था के दौर में भी देश को एकजुट रखते हुए ग़रीब कल्याण योजना के तहत 1.70 लाख करोड़ रुपए का प्रावधान कर प्रभावित ग़रीब परिवारों, श्रमिकों और ज़रूरतमंदों को हरसंभव सहायता सामग्री व आवश्यक राशि मुहैया कराई, देश की अर्थ व्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए स्थायी आर्थिक उपायों पर काम करते हुए 20 लाख करोड़ रुपए का आर्थिक पैकेज घोषित किया।
उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने 45सौ ट्रेनों से देशभर में फँसे लगभग 56 लाख और बसों से 45 लाख प्रवासी श्रमिकों को उनके घरों तक पहुँचाने का काम किया। डॉ. सिंह ने प्रदेश सरकार के डेढ़ वर्ष के कार्यकाल की आलोचना करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ को सम्हालने की ज़िम्मेदारी निभाने में कांग्रेस की प्रदेश सरकार विफल रही। प्रदेश सरकार को बेरहम बताते हुए डॉ. सिंह ने कहा कि वह प्रदेश के लोगों की वेदना को महसूस नहीं करती। देश के दीग़र राज्यों ने अपने प्रवासी श्रमिकों के खातों में आर्थिक सहायता के रूप में पर्याप्त राशि जमा कराई लेकिन छत्तीसगढ़ की कांग्रेस सरकार ने अपने ढाई लाख प्रवासी श्रमिकों के खाते में ढाई रुपए तक जमा नहीं कराए। प्रदेश के किसानों के साथ छल-कपट किया, शराबबंदी के वादे से मुकर रही है। शराब के धंधे में करोड़ों की हेराफेरी हो रही है। शराब की तस्करी में पुलिस के लोग पकड़े जा रहे हैं।
डॉ. सिंह ने तेंदूपत्ता संग्राहकों को भी दो साल का बोनस नहीं मिलने की बात कही। कोरोना के मोर्चे पर प्रदेश सरकार को विफल बताते हुए डॉ. सिंह ने कहा कि टेस्टिंग सुविधा नहीं बढ़ाए जाने के कारण जाँच रिपोर्ट का काम पेंडिंग पड़ा है और क्वारेंटाइन सेंटर्स यातना गृह बनकर रह गए हैं। केंद्र की राशि से संचालित मनरेगा को छोड़कर प्रदेश में कहीं कोई काम यह सरकार नहीं कर रही है। प्रदेश में माफिया आतंक बढ़ता जा रहा है और माफिया अपने ख़िलाफ़ आवाज़ उठा रहे जनप्रतिनिधियों और लोगों पर जानलेवा हमले कर रहे हैं।