रायपुर। मेडिकल बुलेटिन में आज भारत में कोरोना के आकड़े, हजारों ड्रग एडिक्ट का टेस्ट, सीएम एक महीने तक नहीं मिलेंगे, संचालक से लेकर चपरासी तक संक्रमित, फीवर क्लीनिक का शुभारंभ जैसी ख़बरें शामिल हैं. देखिए पूरी ख़बर चंद मिनट नीचे लिंक क्लिक करके.
देश में 43 लाख कोरोना संक्रमित
भारत में कोरोना संक्रमितों का आँकड़ा लगातार बढ़ रहा है. 24 घंटे में एक बार फिर 90 हजार नए केस सामने आए हैं. वहीं लगातार आठवें दिन 1 हजार से अधिक लोगों की मौत हुई है. स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक भारत में आगामी कुछ महीने खतरनाक रह सकते हैं. खास तौर पर अक्टूबर का महीना महत्वपूर्ण रहेगा. देश में अभी 43 लाख से अधिक केस आ चुके हैं. हालांकि इनमें 34 लाख लोग ठीक भी हो चुके हैं. लेकिन अभी 9 लाख के करीब सक्रिय मरीज हैं. देश में कोरोना से कुल 74 हजार लोगों की मौत हो चुकी है.
17 हजार ड्रग एडिक्ट का कोरोना टेस्ट
ड्रग एडिक्ट के मामले में अग्रणी राज्य पंजाब में 17 हजार ड्रग एडिक्ट का कोरोना टेस्ट किया गया. यह आँकड़ा सिर्फ एक जिला तरनतारन का है. लेकिन टेस्ट के दौरान जिला प्रशासन की ओर से लारपवाही बरतने का मामला भी सामने आया है. मीडिया रिपोपर्ट्स के मुताबिक टेस्ट के दौरान पर्याप्त व्यवस्था नहीं होने से सोशल डिस्टेंसिंग की जमकर धज्जियां उड़ी. पंजाब सरकार का आदेश है कि ड्रग सभी लोगों का करोना वायरस का टेस्ट किया जाए और इसके अलावा इनके यूरिन का टेस्ट करके यह पता लगाया जाए कि यह लोग कोई और नशा करने के आदी तो नहीं हैं.
राजस्थान में कोरोना का असर
राजस्थान में बीते दिनों मुख्यमंत्री निवास और कार्यालय में कोरोना के करीब 40 मामले सामने आए थे. लगभग 40 कर्मचारियों के कोरोना संक्रमित पाए जाने के बाद प्रदेश के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने बड़ा निर्णय लिया है. उन्होंने आगामी एक महीने आमजन सहित अन्य सभी लोगों से मुलाकात नहीं करने का फैसला लिया है. सीएम गहलोत ने कहा कि कोविड-19 के बढ़ते संक्रमण से बचाव के लिए सोशल डिस्टेंसिंग और हेल्थ प्रोटोकॉल का पालन ही मुख्य उपाय है. खुद का बचाव करके ही इस संक्रमण को नियंत्रित किया जा सकता है. सीएम ने कहा कि इसी उद्देश्य से चिकित्सकों की सलाह के अनुसार मैंने आगामी एक माह तक आमजन सहित अन्य सभी लोगों से मुलाकात नहीं करने का निर्णय लिया है. उन्होंने कहा कि इस दौरान सिर्फ सुशासन के लिए वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से भाग लेंगे.
सरकारी विभाग कोरोना का फैलाव
कोरोना संक्रमण ने छत्तीसगढ़ सरकार की योजनाओं और सूचनाओं का प्रचार-प्रसार संभालने वाले जनसंपर्क विभाग में कामकाज पूरी तरह से ठप्प कर दिया है. संभवतः यह पहला ऐसा विभाग होगा, जहां संचालक से लेकर चपरासी तक कोरोना संक्रमण की चपेट में आ गए हैं. अब तक विभाग से 25 अधिकारी-कर्मचारी कोरोना पाॅजिटिव पाए गए हैं. चौंकाने वाली बात यह है कि संक्रमण ने उनके परिवारिक सदस्यों को भी अपने घेरे में ले लिया है. विभाग में संक्रमण के आंकड़ें दिनोंदिन बढ़ते जा रहे हैं. शासन के समस्त विभागों की सूचनाओं को प्रचारित करने की जिम्मेदारी जनसंपर्क की ही है, लिहाजा कोरोना विस्फोट का सीधा असर सरकार से जुड़ी सभी तरह की सूचनाओं और प्रचार-प्रसार पर पड़ रहा है.
ऑक्सफोर्ड में वैक्सीन पर रोक
ऑक्सफोर्ड ऐस्ट्राजैनेका की कोरोना वैक्सीन को लेकर सेफ्टी जैसे कुछ सवाल पैदा हुए हैं. कुछ लोगों पर इसके ट्रायल के नुकसानदायक नतीजे देखने को मिले हैं. इसके बाद आगे का ट्रायल रोका गया है. एक स्टडी में नुकसानों का खुलासा हुआ है. जिन देशों में वैक्सीन के ट्रायल के दौरान नुकसान सामने आए हैं उनमें अमेरीका और ब्रिटेन शामिल है. ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी और एस्ट्राजेनेका मिलकर इस वैक्सीन को बना रहे हैं.
फीवर क्लीनिक का शुभारंभ
प्रदेश के पहले फीवर क्लीनिक का संसदीय सचिव विकास उपाध्याय ने लोकार्पण किया. फीवर क्लीनिक’ में कोविड-19 के प्रारंभिक लक्षण की जांच कर मुफ्त में दवा वितरित की जाएगी.‘फीवर क्लीनिक’ को लेकर विधायक विकास उपाध्याय ने कहा कि पश्चिम विधानसभा के पायलट प्रोजेक्ट के रूप में मैंने इसकी शुरुआत की है. सर्दी-खांसी बुखार जैसी स्थिति में यदि दवाई भी देनी है तो पहले ऑक्सीमीटर के माध्यम से उस व्यक्ति का ऑक्सीजन की जानकारी ली जाएगी. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री की मंशा है कि हर व्यक्ति की मदद की जाए इस वजह से दवाई भी सरकार की तरफ से ही मुफ्त में दी जाएगी.
देखिए मेडिकल बुलेटिन