सुप्रिया पांडे,रायपुर। किन्नरों को हमेशा समाज से दूर रखा जाता है. जिस कारण वो समाज की मुख्यधारा से नहीं जुड़ पाते है. अब राजधानी में किन्नरों को दर-दर की ठोकरे नहीं खानी पड़ेगी. क्योंकि समाज कल्याण विभाग और नगरीय प्रशासन विभाग सामुदायिक भवन का निर्माण करा रही है. इस भवन में ऐसे परिवार के बच्चे रहेंगे, जो परिवार किन्नर पैदा होने पर उन्हें अपने पास नहीं रखते हैं. इस पहल के बाद थर्ड जेंडर समुदाय में खुशी की लहर है.

समाज कल्याण विभाग के अधिकारी भूपेन्द्र पाण्डेय ने कहा कि सरोना में सामुदायिक भवन के रूप में एक सेक्टर डेवलप किया जा रहा है. आने वाले समय में तृतीय लिंग समुदाय वर्ग के लोगों के लिए पुनर्वास केन्द्र भी बनाए जाएंगे. ऐसे थर्ड जेंडर जो अपनी जीविकोपार्जन के लिए संसाधन जुटाना चाहते हैं, काम करना चाहते हैं, उनके प्रशिक्षण की व्यवस्था भी समाज कल्याण विभाग करेगी.

इस पहल पर मितवा संगठन की अध्यक्ष विद्या राजपूत ने समाज कल्याण विभाग और नगरीय प्रशासन विभाग को धन्यवाद दिया है. उनका कहना है कि हमारे समाज के लोग, समाज के मुख्यधारा में शामिल होने के लिए संघर्षरत है. उनके लिए बहुत बड़ी पहल है. ट्रांसजेंडर लोगों के लिए जो पुनर्वास केंद्रों का निर्माण व सामुदायिक भवन का निर्माण किया जा रहा है. इन दोनों ही कांसेप्ट से ट्रांसजेंडर कम्यूनिटी व किन्नर समुदाय समाज के मुख्यधारा में शामिल होगा. इससे समाज के लोगों को बहुत सारे लाभ भी मिलेंगे. समाज के लोग अलग-अलग सेक्टर पर ट्रेनिंग लेना चाहते हैं और अपनी प्रतिभा के आधार पर वे नौकरी भी करना चाहते है. इस माध्यम से समाज को एक अच्छा अवसर प्रदान होगा.