रायपुर। कोलकाता में आयोजित तीसरे आईसीसी सोशल इम्पैक्ट अवार्ड कार्यक्रम में अदाणी फाउंडेशन को सम्मानित किया गया. यह अवार्ड महिला सशक्तिकरण के क्षेत्र में छत्तीसगढ़ राज्य के सरगुजा जिला में महिलाओं को प्रोजेक्ट उन्नयन के माध्यम से सशक्त बनाने की दिशा में किये गए बेहतरीन कार्यों और झारखण्ड राज्य के गोड्डा जिले में डिजिटल लर्निंग के क्षेत्र में प्रोजेक्ट ज्ञानोदय के तहत अभूतपूर्व योगदान के लिए दिया गया है.

उल्लेखनीय है कि अदाणी फाउंडेशन के प्रोजेक्ट उन्नयन के क्रियान्यवन से सरगुजा जिले के उदयपुर और लखनपुर विकास खंड की 5000 से ज्यादा किशोरी बालिका, महिलाओं की माहवारी स्वच्छता के लिए कार्य किया जा रहा है. जिसके अंतर्गत जहां एक ओर परसा, साल्ही, हरिहरपुर, फतेहपुर और घाटबर्रा की 250 महिलाएं, महिला उद्यमी बहुउद्देशीय सहकारी समिति के माध्यम से सेनिटरी पैड का निर्माण कर, ग्रामीण महिलाओं को सस्ते कीमत पर उपलब्ध करा रही हैं. वहीं दूसरी ओर 250 महिलाओं को इस कार्य और अन्य आजीविका संवर्धन उद्यमों जैसे वस्त्र सिलाई, सफेद फिनाइल निर्माण, मसाला पिसाई व पैकेजिंग, जैविक केंचुआ खाद निर्माण, जैविक कृषि, फ़ूड कैटरिंग आदि के माध्यम से रोजगार का अवसर मुहैया कराकर आर्थिक रूप से सशक्त बनाया गया है. इस सशक्तिकरण के परिणामस्वरूप सम्बंधित महिलाओं के ग्रामीणों में शिक्षा और स्वच्छता को लेकर जागरूकता बढ़ी है. जबकि डिजिटल लर्निग को बढ़ावा देते हुए ज्ञानोदय प्रोजेक्ट के माध्यम से छात्र छात्राओं को डिजिटल लर्निंग में सहज बनाने का प्रयास किया जा रहा है.

अवार्ड कार्यक्रम का आयोजन कोलकाता के आईसीसी टावर में हुआ जिसके पहले सत्र में विशेषज्ञों की टीम ने सीएसआर के तहत किए जाने वाली पहल व सीएसआर के चैलेंज पर परिचर्चा की, जबकि दूसरे सत्र में चयनित संस्थाओं को ट्रॉफी देकर सम्मानित किया गया. कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के तौर पर ब्रिटिश हाई कमीशन के डिप्टी हाई कमिश्नर मिस्टर निकोलस लॉ, जापान के कॉन्सुलेट जनरल मिस्टर नाकामुरा युताका, ऑस्ट्रेलिया के कॉन्सुलेट जनरल मिस्टर जेनियल सिम, इंडियन चैंबर ऑफ कॉमर्स के प्रेसिडेंट विकास अग्रवाल व आईसीसी चैयरमैन नयनतारा पालचौधरी मौजूद रहे. अदाणी फाउंडेशन, अदाणी इंटरप्राइजेज लिमिटिड की ओर से सरगुजा क्लस्टर एच आर हेड गौरव जैन, अदाणी फाउंडेशन के सरगुजा यूनिट सीएसआर हेड राजेश रंजन और परियोजना पदाधिकारी निरूपा ने अवार्ड ट्रॉफी व प्रशस्तिपत्र ग्रहण किया.

गौरतलब है कि अदाणी फाउंडेशन के सतत प्रयास से निर्मित बहुउद्देशीय महिला सहकारी समिति मब्स के माध्यम से सैकड़ों महिलाओं को स्वरोजगार से जोड़ा जा रहा है. बैग, पैड व केंचुआ खाद जैसी यूनिटों से स्थानीय महिलाओं समेत किसानों के लिए भी बेहतर बाजार उपलब्धता उत्पन्न हुई है.