नोएडा.  नोएडा अथॉरिटी के चीफ इंजीनियर रहे यादव सिंह पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भ्रष्टाचार के मामले में मुकदमा चलाने की अनुमति दे दी है. तत्कालीन परियोजना अभियंता वेदपाल व सहायक परियोजना अभियंता एस के अग्रवाल पर भी इसी तरह का मुकदमा चलेगा.  मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इन तीनों पर मुकदमा चलाने के मामले में अनुमति दे दी.

बता दें कि बसपा शासनकाल में नोएडा के तत्कालीन इंजीनियर यादव सिंह पर अब उनके खिलाफ अदालत में मुकदमा चलने का रास्ता साफ हो गया है. इस संबंध में औद्योगिक विकास विभाग ने सोमवार को तीनों के संबंध में अलग-अलग आदेश जारी कर दिए. इसमें कहा गया है कि सीएमई (जल) यादव सिंह ने अपने पद का दुरुपयोग किया. इस कारण नोएडा प्राधिकरण को 1.76 करोड़ की आर्थिक क्षति उठानी पड़ी. क्योंकि उनके द्वारा मिलीभगत से अयोग्य ठेकेदार को सामानों को के ऊंचे रेट पर टेंडर दिए गए. इस तरह ठेकेदार को अनियिमत तरीके से लाभ पहुंचाया गया.

यादव सिंह इस तरह अपराधिक षडयंत्र में शामिल रहे. दस्तावेजों की जांच से पता चला है कि पृथम दृष्टया भारतीय दंड संहिता की धारा 420 सपठित 120 बी तथा भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धारा 13 (2) भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988 के तहत दंडनीय है.
राज्य सरकार को स्पष्ट हो गया है कि यादव सिंह को उक्त अपराधों के लिए सक्षम न्यायालय में अभियोजित किया जाए. सरकार इन अपराधों का किसी अधिकारितायुक्त सक्षम न्यायालय द्वारा संज्ञान करने की स्वीकृति देती है.