कपिल शर्मा, हरदा। मध्य प्रदेश के हरदा जिले की रहने वाली एक 3 साल की बच्ची जीविशा ने एक बार फिर प्रदेश का मान बढ़ाया है. मात्र 3 और 7 वर्ष की नन्ही आयु में जैन धर्म के सिद्धांतों, संस्कारों को स्वीकार करते हुए मोक्ष सप्तमी पर निर्जला उपवास की तप और त्याग की साधना करने वाली जीविशा और फलक का हरदा जैन समाज ने स्वागत सम्मान किया है.

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जानकारी देते हुए जैन समाज हरदा के अध्यक्ष सुरेन्द्र जैन एवं ट्रस्टी राजीव रविन्द्र जैन ने बताया कि जैन समाज के पूर्व अध्यक्ष अशोक बड़जात्या के छोटे भाई सुशील बड़जात्या की बिटिया आयुशी की पुत्री जीविशा ने श्री पार्श्वनाथ भगवान के निर्वाणोत्सव पर सरल परिणामों के साथ मोक्ष सप्तमी का निर्जल उपवास सम्पन्न किया. अल्प आयु में कठिन निर्जला उपवास की तप साधना करने वाली जीविशा व फलक दोनों का सम्मान करते हुए जैन सामाज हरदा के पदाधिकारियों ने स्मृति चिन्ह भेंट किया.

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महिला परिषद की अध्यक्षा साधना राजीव कटनेरा ने बताया कि दोनों बिटिया इंदौर की निवासी हैं. राखी पर्व पर अपने नाना के घर हरदा आई हुई हैं. इस दौरान दोनों बेटियों द्वारा निर्जला उपवास किया गया. जिसमें बेटी जीविशा के द्वारा किए गए इस निर्जला उपवास को वर्ल्ड रिकॉर्ड ऑफ इंडिया ने अपने रिकॉर्ड में शामिल करते हुए प्रशस्ति पत्र प्रदान किया है. वर्ल्ड रिकॉर्ड ऑफ इंडिया ने कहा कि इतनी छोटी सी उम्र में इतने लंबे समय तक उपवास करने का अन्य कोई रिकॉर्ड नहीं है.

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