शब्बीर अहमद, भोपाल। मध्यप्रदेश में टाइगर रिजर्व (tiger reserve) और नेशनल पार्क (national park) में अब इलेक्ट्रॉनिक गाड़ियां दौड़ती नजर आएंगी। ध्वनि और वायु प्रदूषण को देखते हुए सरकार ने पेट्रोल-डीजल वाहनों को हटाने का फैसला लेने जा रही है। अब पेट्रोल-डीजल की जगह टाइगर रिजर्व और नेशनल पार्क में इलेक्ट्रॉनिक गाड़ियों को बढ़ावा दिया जाएगा। इसे लेकर सरकार ने सफारी करवाने वाली समितियों से प्रस्ताव भी मांगा है। 

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वन्यप्राणियों के स्वास्थ को देखते हुए फैसला

सरकार वन्यप्राणियों के स्वास्थ को देखते हुए ये फैसला लेने जा रही है। क्योंकि ध्वनि और वायु प्रदूषण के कारण वन्यप्राणियों के सेहत को नुकसान पहुंचता है। लिहाजा इस तरह का फैसला लिया जा रहा है, जिससे वन्यप्राणियों ध्वनि और वायु प्रदूषण से नुकसान न हो। देखने में आता है कि टाइगर रिजर्व में बाघ को देखने के लिए गाड़ी को काफी तेज दौड़ाया जाता है। इससे काफी शोर होता है जिससे उनके स्वास्थ्य और प्रजनन क्षमता पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है।

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6 टाइगर रिजर्व और 11 नेशनल पार्क

एमपी में 6 टाइगर रिजर्व और 11 नेशनल पार्क है यहां पर रोज हजारों की संख्या में पर्यटक पहुंचते हैं। औसतन 100 से 150 गाड़ी पर्यटकों को सफारी का करवाती हैं। शुरूआत में इसे कुछ पार्कों में शुरू किया जाएगा। इसके बाद फैसला का फीडबैक लिया जाएगा। फिर दूसरे टाइगर रिजर्व और नेशनल पार्क में लागू किया जाएगा। इससे दो फायदे होंगे पहला वन्यप्राणी ध्वनि और वायु प्रदूषण से दूर रहेंगे। साथ ही इलेक्ट्रॉनिक वाहन के जरिए स्थानीय लोगों को रोजगार भी मिलेगा।

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