संदीप शर्मा, विदिशा। जिले का सरकारी सिस्टम ऐसा है कि कलेक्टर के आदेश का भी पालन नहीं हो पा रहा है। मामला यह है कि आशा सुपरवाइजरों की शिकायत पर तत्काल संज्ञान लेते हुए कलेक्टर ने तीन दिनों के भीतर कार्रवाई का आश्वासन दिया था। कलेक्टर के तीन दिनों के भीतर कार्रवाई के आश्वासन को 7 दिन बीत गए और मामला जस का तस है।
जिले के लटेरी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के बीएमओ डॉ सुरेंद्र धाकड़ के खिलाफ आशा सुपरवाइजर ने लिखित में शिकायत की थी। शिकायत के बाद एक ज्ञापन कलेक्टर को भी सौंपा था। इस दौरान कलेक्टर ने तीन दिनों के भीतर मामले की जांच कर कार्रवाई का आश्वासन दिया था। कलेक्टर के आश्वासन को ही 7 दिन हो गए किंतु कार्रवाई अब-तक नहीं हुई है। आज फिर आशा सुपरवाइजरों ने कलेक्टर को स्मरण पत्र सौंपकर उनके दिए आश्वासन को याद दिलाया है।
जानकारी के अनुसार मंगलवार को एक बार फिर आशा सुपरवाइजरों ने कलेक्टर के नाम ज्ञापन सौंपा है। इस ज्ञापन के जरिए उन्होंने कलेक्टर द्वारा दिए गए आश्वासन पर अब तक अमल न होने की बात कही है, साथ ही स्मरण पत्र के जरिए बीएमओ पर कार्रवाई की मांग की। आशा सुपरवाइजरों का कहना है कि 14 तारीख को उन्होंने कलेक्टर को शिकायत की थी, जिसमें 3 दिन के भीतर कार्रवाई का आश्वासन दिया था। उनके आश्वासन के 7 दिन बीतने के बाद भी अब तक कोई कार्रवाई नहीं हुई। वहीं उन्हें काम पर लौटने की धमकियां मिल रही हैं, साथ ही साथ यह भी कहा जा रहा है कि कहीं भी शिकायत कर लो हमारा कुछ नहीं बिगड़ेगा।
बता दें कि आशा सुपरवाइजरों ने समय पर मानदेय नहीं देने सहित बीएसओ पर दुर्व्यवहार की शिकायत की थी। बताया जाता है कि बीएमओ का शुरू से ही विवादों से नाता रहा है। इसके पहले भी अस्पताल के कीमती मशीनों को जान बूझकर कबाड़ करने, कबाड़ होने के बाद बेचने के आरोप भी लग चुके है।
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