Raipur news : नेहा केशरवानी, रायपुर. प्रदेश में अब मिशन 2023 (Mission 2023) के तैयारी की शुरुआत दिखने लगी है. सत्ताधारी दल और विपक्ष दोनों ही अपने-अपने स्तर पर 2023 के लिए तैयारी शुरू कर दी है. इसी कड़ी में BJP महामंत्री अजय जामवाल 3 दिवसीय दौरे पर छत्तीसगढ़ आ रहे हैं. मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ का प्रभार मिलने के बाद ये उनका पहला दौरा है. जानकारी के मुताबिक आज BJP कोर कमेटी की बैठक भी है. जिसमें अजय जामवाल नेताओं पदाधिकारियों से मुलाकात करेंगे और मिशन 2023 की तैयारी को लेकर चर्चा करेंगे. वहीं प्रदेश सरकार के खिलाफ मोर्चा तैयार करने के लिए रणनीति भी बनाई जाएगी.

भाजपा प्रदेश अध्यक्ष विष्णुदेव साय ने बताया कि जामवाल का मुख्यालय छत्तीसगढ़ रहेगा. वे विभन्न स्तर की बैठक लेंगे और संगठन को कैसे मजबूत किया जाए इस पर रणनीति बनाएंगे. 2023 में छत्तीसगढ़ विधानसभा का चुनाव होना है. इसलिए हम संगठन मजबूत कर रहे हैं, ताकि यहां की झूठी और निक्कमी सरकार को उखाड़ फेंकने में हम सफल हों. उन्होंने राज्य सरकार पर निशाना साधते हुए ये भी कहा कि साढ़े 3 साल हो गए जनता के साथ धोखा हुआ है. जनता ने पूरे विश्वास के साथ सरकार को चुना था, लेकिन सरकार ने जनता को छलने का काम किया है. कुछ करके दिखाएं तब बात बनेगी.

5 अगस्त को गिरफ्तारी देंगे कांग्रेस के नेता

वहीं दूसरी तरफ सत्ताधारी कांग्रेस महंगाई, बेरोजगारी, अग्निपथ योजना और GST को लेकर 5 अगस्त को राष्ट्रव्यापी प्रदर्शन करने जा रही हैं. इसमें सारे नेता गिरफ्तारी देंगे. जिसमें मुख्यमंत्री भूपेश बघेल भी शामिल होंगे, धरना प्रदर्शन के बाद राजभवन का घेराव भी किया जाएगा. कैबिनेट मंत्री अमरजीत भगत ने कहा कि हम महंगाई के खिलाफ प्रदर्शन करने वाले हैं. उन्होंने कहा कि मोदी सरकार हर मोर्चे पर फेल है. ना वो किसानों के लिए कुछ कर पाए, ना युवाओं के लिए कुछ कर पाए, ना व्यापारियों के लिए कुछ कर पाए. मोदी सरकार हर क्षेत्र में महंगाई रोकने में नाकाम रही है. प्रधानमंत्री कठपुतली बन चुके हैं. इस पर विष्णुदेव साय ने भी पलटवार करते हुए कहा कि सरकार पचा नहीं पा रही है कि केंद्र सरकार गांव, गरीब, किसान और मजदूर का सर्वांगीण विकास कर रही है.

तबादलों को लेकर टारगेट पर सरकार

छत्तीसगढ़ में नए तबादले नीति पर भी चर्चा तेज हो गई है. बताया जा रहा है कि नए फार्मूला के आधार पर केवल जिला स्तर पर ही तबादले होंगे. फार्मूला लगभग तैयार है बस सरकार की मुहर लगना बाकी है. बता दें कि कोरोना के समय से 2 साल से सामान्य तबादले नही हुए थे. इसे लेकर बीजेपी ने सरकार को टारगेट करते हुए कहा कि बड़े अधिकारियों का लगातार तबादला कर रहे हैं, लेकिन छोटे कर्मचारी इससे पीड़ित हैं, उनकी भी कई तरह की इच्छाएं होती हैं. वह भी पीड़ित हो रहे हैं. वैसे तो देखा जाए तो सरकार तबादला उद्योग चला रही है. गर्मी के दिनों में बरसात के पहले यह सब तबादला हो जाना चाहिए था, ताकि बच्चों के स्कूलों में पढ़ाई में दिक्कत न हो.

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