भोपाल। मध्यप्रदेश विधानसभा की कार्यवाही रुक-रुक कर हो रही है. क्योंकि विधानसभा की कार्यवाही शुरू होते ही हंगामा होने लगता है. विधानसभा अध्यक्ष गिरीश गौतम ने पोषण आहार मामले को लेकर सीएम शिवराज को वक्तव्य का समय दिया. जिसके बाद कमलनाथ ने बीच में रोक दिया. नेता प्रतिपक्ष गोविंद सिंह बोले मैंने कल पोषण आहार मामले पर चर्चा के लिए कहा था. लेकिन चर्चा करने से सरकार क्यों भाग रही है ?
संसदीय कार्यमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने बताया कि वक्तव्य पढ़ें जाने की परंपरा है. नेता प्रतिपक्ष वक्तव्य का जवाब देते हैं. विपक्ष चर्चा से भाग रहे. सदन में फिर हंगामा हुआ. सीएम के वक्तव्य से पहले संसदीय कार्य मंत्री और नेता प्रतिपक्ष के बीच तीखी बहस हुई.
कांग्रेस विधायक ने कहा कि बच्चों का खाना जो खा गया, वो चर्चा से भाग रहे हैं.
नागरीय प्रशासन मंत्री ने कहा कि सरकार के वक्तव्य पर नेता प्रतिपक्ष अपनी प्रतिक्रिया दे सकते हैं. महत्वपूर्ण विषयों पर सरकार का वक्तव्य होता है. कमलनाथ पार्लियामेंट में थे उन्हें ये पता है.
सीएम के वक्तव्य से पहले दोनों पक्षों के बीच बहस हुई. विपक्ष का आरोप सरकार जवाब नहीं देना चाहती है.
सदन में वक्तव्य को लेकर अलग अलग सत्रों के वक्तव्य का विधानसभा अध्यक्ष ने समझाया. सदन में जोरदार हंगामा.
विपक्ष का कहना है कि मुख्यमंत्री के वक्तव्य से पहले हो पोषण आहार मामले में चर्चा करें. उसके बाद वक्तव्य दें. विपक्ष पोषण आहार पर पहले वक्तव्य देने पर अड़ा. सदन के अंदर फिर हंगामा शुरू हुआ. सदन में पोषण आहार मामले को लेकर पक्ष विपक्ष में तीखी नोकझोंक.
कमलनाथ ने कहा कि विधानसभा अध्यक्ष जी स्थगन प्रस्ताव स्वीकार करें या ना करें. हम सभी सदन की प्रक्रिया का सम्मान करते हैं. पहले हमें बोलने दिया जाए. मुख्यमंत्री शिवराज ने कहा कि मेरे वक्तव्य के बाद विपक्ष के नेता बोले कोई दिक्कत नहीं है.
हंगामे के बीच सदन में सीएम शिवराज का पोषण आहार मामले में वक्तव्य शुरू हुआ. जिसके बाद सदन में विपक्ष के विधायकों ने ‘चोर की दाढ़ी में तिनका’ के लगाए नारे. विपक्षी विधायकों का सदन में जोरदार हंगामा जारी है. इसी हंगामे के बीच सीएम शिवराज का वक्तव्य भी जारी है.
पोषण आहार को लेकर सीएम शिवराज ने अपने वक्तव्य में कहा कि ऑडिट रिपोर्ट में कहा गया कि जिस कार्यकाल में आहार की गुणवत्ता ठीक नहीं पाई गई. जो आहार अमानक पाए गए, वो कांग्रेस के कार्यकाल के थे. सीएम ने कहा कि हम सभी बुन्दुओं पर AG को जवाब भेजेंगे. ये अंतिम रिपोर्ट नहीं है. CAG की रिपोर्ट का हम इंतज़ार करेंगे. अगर कहीं गड़बड़ी पाई गई, तो कड़ी कार्रवाई की जाएगी. चाहे दोषी कोई भी हो. किसी को छोड़ा नहीं जाएगा.
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