पुरुषोत्तम पात्र, गरियाबंद. बिगड़े मौसम ने 2500 महुआ फूल संग्राहक परिवार के उम्मीदों पर पानी फेर दिया. 50 दिन तक गिरने वाला फूल 15 दिनों में ही सिमट गया. कारोबारियों का कहना है कि पिछले साल महुआ बाजार में 20 करोड़ का कारोबार हुआ था. इस बार बेमौसम बारिश से महुआ बाजार 7 करोड़ के भीतर सिमट जाएगा.
मार्च के पहले सप्ताह से शुरु होकर अप्रैल अंतिम सप्ताह तक झरने वाले महुआ के फूल पर इस बार मौसम का ग्रहण लग गया. फूल गिरना शुरू हुआ था, हर साल की भांति मार्च के अंतिम सप्ताह व अप्रैल के दूसरे स्पताह के बीच फूल की बम्फर बरसात होती है, पर इस बीच बेमौसम बारिश व ओले ने महुआ का सारा गणित बिगाड़ दिया. 17 से 23 मार्च तक लगातार रुक रुक कर बारिश हुई. ओले भी गिरे. वन क्षेत्र में जमकर आंधियां भी उठी.
तापमान में गिरावट से अपरिपक्व फूल में सड़न
ओले, आंधी से फूल गिरकर बेकार हो गए तो तापमान में गिरावट के कारण अपरिपक्व फूल में सड़न आ गया है. लगातार मौसम में नमी के कारण फूल बनाने वाले कूची भी खराब हो गए. ऐसे में अब दोबारा महुआ का फूल तैयार कुचियो में नहीं आएंगे. जानकारों कि माने तो मौसम में सुधार आने के बाद कूची तैयार होने व उसमें फूल लगने में अप्रैल के दो सप्ताह बित जाएंगे. ऐसे में मौसम ठीक ठाक रहा तो अंतिम सप्ताह में ही कुछ मात्रा के संग्रहण की आस बनी हुई है.
व्यापारियों ने कहा – इस बार सिमट गया कारोबार
महुआ का कारोबार करने वाले बड़े ब्यापारी विकास पांडेय, सुरेश राजपुरोहित, कैलाश राजपुरोहित, अशोक राजपुरोहित, रूपसिंह नागेश, भजन तिवारी ने बताया कि देवभोग परिक्षेत्र व इंदागांव परिक्षेत्र के गैर प्रतिबंध इलाके मिलाकर लग्भग 50 गांव में 2 हजार से ज्यादा परिवार महुए का संग्रहण करते हैं. पिछली बार 20 करोड़ का कारोबार हुआ. इस बार समय से पहले फसल बर्बाद हो गई. ऐसे में कारोबार 7 करोड़ के भीतर सिमट जाएगा. खराब मौसम के कारण अब तक संग्रहण फूलों के गुणवत्ता में भी फर्क पड़ेगा. इस बार 22 रुपए से कीमत खुला था, जो बरसात के पहले तक 32 रुपए प्रति किलो तक पहुंच गया था, जबकि पिछले बार 50 रुपए से भी ज्यादा कीमत में महुआ की खरीदी हुई थी.
सरकारी कीमत और लक्ष्य में हुई कटौती
देवभोग परिक्षेत्र के रिकार्ड के मुताबिक बीते सीजन में 33 रुपए समर्थन मूल्य पर 6290 क्विंटल सूखा महुआ फूल व 10 रुपए किलो के दर पर 900 क्विंटल फूड ग्रेड कच्चा महुआ की सरकारी खरीदी हुई थी. लगभग 1300 संग्राहक परिवार को 2 करोड़ से ज्यादा का भुगतान हुआ था, लेकिन इस बार समर्थन मूल्य 33 रुपए से घटाकर 30 रुपए कर दिया गया है. वहीं फूड ग्रेड कच्चा महुआ का लक्ष्य भी 500 क्विंटल किया गया है. इस बार केवल पीपलखुटा समिति ही फूड ग्रेड की खरीदी कर रही है, जो देवभोग वन धन केंद्र में प्रोसेंसिंग के लिए पहुंच रहा है.
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