रायपुर। किसान भाई जब भी अपने खेत में बोर करवाते हैं तो कुछ ऐसी तरह है जिससे जमीन में मौजूद पानी का पता लग सकता है कि कोई हाथ में नारियल लेकर पानी का पता लगाता है और कोई ब्राजील की रॉड से पता लगाता है। लेकिन इनका कोई आधार वैज्ञानिक ना होने के कारण कुछ लोग इन तरीकों से अक पर सवाल करते हैं।

किसान मित्रों आजकल बोरिंग करवाने के लिए किसान के पास पैसे कम रहते हैं तो किसान चाहते है की जब बोरिंग करवाए तब वहां सटीक मात्रा में पानी मिल जाए ताकि उनकी आवश्यकता के अनुसार पानी आसानी से मिल जाये। आज के डिजिटल जमाने में बहुत सी मशीनें आ गई है जिनके द्वारा पानी का पता लगाया जा सकता है।

अगर किसानों को पहले ही पता चल जाएगा कि धरती के नीचे मीठा पानी मिलेगा तो किसानों का खर्च महंत और समय बचेगा और पानी का पता लगाने के लिए बार बार बोर लगाने की जरूरत भी नहीं पड़ेगी। लेकिन आज हम आपको पानी विवरण की काफी अलग तरह की एक मशीन के बारे में जानकारी देने वाले हैं। जो वैज्ञानिक प्रणाली से काम करता है। उसे खर्च करना काफी आसान भी है।

इस मशीन में सेंसर लगे हुए हैं जो ये बताते हैं कि जमीन में कितना पानी है और किस जगह पर बोर करना है। खास बात ये है कि ये नाम का यह नाम देता है कि कितना फीट तक खारा पानी है और उसके बाद कितने फीट पर मीठा पानी है। यानी किसान उसी होश से बोर कर सकते हैं।

आपको बता दें कि ये अमेरिकन कंपनी की मशीन है और ये बिल्कुल सही जानकारी देती है कि जमीन में कितना मीठा पानी है। यह मशीन मेग्नेक्टिक निशान से पानी का पता लगाती है जहाँ भी इसे पानी की अच्छी मात्रा मिलती है इस मशीन का अंतेना अपने आप उस दिशा में मुड़कर लग जाता है जिससे हम बड़ी आसानी से पानी की जगह का पता लगा सकते हैं।

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