महाराष्ट्र में रविवार को पुणे में पुलिस की ओर से वारकरी तीर्थयात्रियों पर कथित रूप से लाठीचार्ज (Lathi Charge on Warkari Pilgrims) का आरोप विपक्ष ने लगाया है. विपक्ष ने शिंदे-फडणवीस सरकार पर निशाना साधा है. बता दें कि वारकरी तीर्थयात्री भगवान विष्णु के अवतार माने जाने वाले भगवान विठ्ठल के भक्तों को कहा जाता है.
जानकारी के मुताबिक घटना उस समय हुई जब तीर्थयात्री जुलूस के रूप में पुणे शहर से 22 किमी दूर स्थित आलंदी शहर में संत ज्ञानेश्वर महाराज समाधि मंदिर में प्रवेश पाने की कोशिश कर रहे थे. औपचारिक जुलूस पंढरपुर की वार्षिक आषाढ़ी एकादशी तीर्थयात्रा का एक हिस्सा था. उधर, पुलिस ने कहा कि कोई लाठीचार्ज नहीं हुआ है, लेकिन ये भी माना कि पुलिस और भक्तों के बीच बहस हुई थी.
पुलिस ने रोकने की कोशिश की, तो विवाद हुआ- विनय कुमार
घटना के बाद विपक्षी दलों ने दावा किया कि पुलिस ने वारकरियों पर लाठीचार्ज (Lathi Charge on Warkari Pilgrims) किया और उच्च स्तरीय जांच और कड़ी कार्रवाई की मांग की. पिंपरी चिंचवाड़ के आयुक्त विनय कुमार चौबे ने कहा कि पुलिस ने किसी भी अप्रिय घटना को रोकने के लिए मंदिर के न्यासियों के साथ विस्तृत व्यवस्था की थी और बैठकें की थीं. उन्होंने कहा कि जब पुलिस एक समय में 75 श्रद्धालुओं के जत्थे भेज रही थी, तब कुछ लोगों ने बेरिकेड्स तोड़ दिए और मंदिर में प्रवेश करने की कोशिश की. पुलिस की ओर से वारकरियों पर लाठीचार्ज करने के आरोपों को खारिज करते हुए चौबे ने कहा कि जब पुलिस ने उन्हें रोकने की कोशिश की तो विवाद हो गया.
वार्षिकोत्सव पर धब्बा- सुप्रिया सुले
मामले को लेकर एनसीपी की कार्यकारी अध्यक्ष और लोकसभा सदस्य सुप्रिया सुले ने इस घटना की निंदा करते हुए इसे वार्षिक उत्सव पर धब्बा बताया। सुप्रिया सुले ने कहा कि वारकरियों पर लाठीचार्ज की घटना के लिए मैं (राज्य) सरकार की निंदा करती हूं. इतने सालों में ऐसा कभी नहीं हुआ. तीर्थयात्रा (पंढरपुर के लिए) पिछले कुछ सदियों से एक परंपरा रही है और प्रशासन के कुप्रबंधन ने इस वार्षिक उत्सव पर एक धब्बा लगा दिया है.
हिंदुत्व सरकार के ढोंग का पर्दाफाश- संजय राउत
शिवसेना (यूबीटी) के नेता संजय राउत ने ट्वीट करते हुए कहा कि “ओह ओह..हिंदुत्ववादी सरकार के ढोंग का पर्दाफाश हो गया है. मुखौटे गिर गए. औरंगज़ेब अलग क्या था? मुगलों ने महाराष्ट्र में पुनर्जन्म लिया है.”
महाराष्ट्र कांग्रेस के अध्यक्ष नाना पटोले ने उच्च स्तरीय जांच और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की, वहीं एनसीपी के राष्ट्रीय प्रवक्ता क्लाइड क्रास्टो ने इस घटना को शर्मनाक बताया. उधर, एनसीपी नेता छगन भुजबल ने कहा कि श्री क्षेत्र आलंदी में जिस तरह से पुलिस ने वारकरी बंधुओं पर लाठियां बरसाईं, वह बहुत ही अपमानजनक है. वारकरी संप्रदाय की नींव रखने वाले महान संत ज्ञानेश्वर महाराज की उपस्थिति में वारकरी भाइयों का यह अपमान अत्यंत निंदनीय है.
फडणवीस का लाठीचार्ज से इनकार
महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री और भाजपा नेता देवेंद्र फडणवीस ने लाठीचार्ज की किसी भी घटना से इनकार किया है. फडणवीस ने कहा कि वारकरी समुदाय पर कोई लाठीचार्ज नहीं हुई है. उन्होंने कहा कि “उन्होंने बैरिकेड्स तोड़ दिए और पुलिस ने उन्हें रोकने की कोशिश की, इस दौरान कुछ पुलिसकर्मी घायल हो गए.”